SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 114

क्यों खुदकुशी कर रहे हैं किसान- विनय सुल्तान

सारी पार्टियां गजेंद्र सिंह की खुदकुशी पर गमगीन दिखने की होड़ में शामिल हैं। अगर उनके आंसू सच्चे हैं तो वे बाकी किसानों की सुध क्यों नहीं ले रही हैं? महाराष्ट्र में सिर्फ चार महीनों में सैकड़ों किसानों ने अपनी जान ले ली। गजेंद्र सिंह राजस्थान का था। मगर राज्य के किसानों पर छाए संकट का वह अकेला उदाहरण नहीं था। कोटा, बूंदी, बारां और झालावाड़ में हाल में तीस से...

More »

जारी है सरकार और एनजीओ के बीच की रस्साकशी

अरविंद दुबे. नरेंद्र मोदी सरकार के गठन के बाद से सिविल सोसाइटी के काम करने के तौर-तरीकों की नए सिरे से समीक्षा हो रही है। ताजा मामला गैर सरकारी संगठन फोर्ड फाउंडेशन का है, जिसे निगरानी सूची में डाल दिया गया है। स्पष्ट है विदेशी फंडिंग से चलने वाले कई स्वयंसेवी संगठनों के लिए राह अब आसान नहीं रह गई है। 'सरकार बनाम एनजीओ' रस्साकशी के बीच यह जानना अहम...

More »

प्रवासी कामगारों की बेहतरी की चिंता- पत्रलेखा चटर्जी

यमन में गृहयुद्ध ने पश्चिम एशिया में भारतीय प्रवासियों की दुर्गति को केंद्र में ला दिया है। वैसे तो हमारी सरकार युद्धरत क्षेत्र से भारतीयों को निकाल लाने की हरसंभव कोशिश कर रही है, लेकिन अनेक भारतीय ऐसे हैं, जो खुद ही वहां से नहीं निकलना चाहते। मसलन, केरल की अनेक नर्सें, जिनके अभिभावकों ने पहले उनके प्रशिक्षण, और फिर उन्हें विदेश भेजने के लिए भारी कर्ज लिया, वहां से...

More »

बारिश से तबाह किसानों को मोदी ने दी बड़ी सौगात

बिन मौसम बारिश और ओलावृष्टि से तबाह हुए लाखों किसानों को राहत देते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कई बड़े ऐलान किए। नई व्यवस्था के तहत अब 50 फीसदी की जगह 33 फीसदी फसल खराब होने पर भी किसान मुआवजे के हकदार होंगे। प्रधानमंत्री ने मुआवजे की राशि में भी 50 फीसदी बढ़ोतरी का ऐलान किया। उन्होंने बैंकों से कहा कि वे बेमौसम बारिश से प्रभावित किसानों के ऋण का पुनर्गठन...

More »

किसानों को दिहाड़ी मजदूर न बनाएं - देविंदर शर्मा

22 मार्च को किसानों के संदर्भ में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 'मन की बात" रेडियो पर प्रसारित होगी और देश में खेती-किसानी और कृषकों के हालात सुधारने के बारे में उनके विचारों से मैं अवगत होना चाहूंगा। मैं नहीं जानता कि मेरे विचार उनके किसी निर्णय को बदल अथवा प्रभावित कर सकते हैं या नहीं, लेकिन यहां मैं किसानों की दुर्दशा और परेशानी अवश्य साझा कर सकता हूं। इसके साथ...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close