बेमौसम बरसात से देशभर के किसानों की फसल तबाह हुई है। गरीबी से जूझ रहे हजारों किसान फसल की बर्बादी और अपनी तबाही बर्दास्त नहीं कर पा रहे हैं। कोई जीवन की आशा छोड़ मौत को गले लगा रहा है तो कोई सदमें से आकर दम तोड़ रहा है लेकिन कुछ अधिकारी ऐसे हैं जो किसानों की आत्महत्या पर बेतुके बयान देने में भी नहीं हिचक रहे। मध्य प्रदेश के भिंड...
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छत्तीसगढ़- स्वास्थ्य बजट 22 सौ करोड़, लेकिन डॉक्टर्स के 1608 पद खाली
रायपुर। छत्तीसगढ़ के स्वास्थ्य बजट में बीते 4 साल में 900 करोड़ का इजाफा हुआ है। अत्याधुनिक मशीनों, उपकरणों की लगातार खरीदी हो रही है। दवाओं से गोदाम भरे हैं। नए अस्पताल, मेडिकल कॉलेज खुल रहे हैं। लेकिन कमी है तो सिर्फ डॉक्टर्स (चिकित्सक) की, विशेषज्ञों (स्पेशलिस्ट) की। क्योंकि इनके बिना कोई इलाज मुमकिन नहीं। दूरस्थ क्षेत्रों में चिकित्सकीय सुविधाएं नहीं मिल रही हैं। वहीं दूसरी तरफ के बड़े इलाज जिनमें...
More »चीन की घिनौनी हरकत, भारत भेज रहा प्लास्टिक के चावल
नई दिल्ली। चीनी सामान के लिए भारत एक बड़ा बाजार है। इस बात का फायदा उठाते हुए चीन हमारे देश में अब प्लास्टिक की अन्य चीजों के साथ ही चावल भी भेज रहा है। एक अंग्रेजी वेबसाइट की खबर के अनुसार, कुछ निर्माता आलू, शकरकंद और चीनी पॉलीमर मिलाकर प्लास्टिक के चावल बना रहे हैं और इसे भारत भेज रहे हैं। इन्हें देखकर असली चावल से अलग करना मुश्किल है। हालांकि, पकाते...
More »बीमारी नयी नहीं, जड़ पर चोट की जरूरत- कृष्ण कुमार
वसंत के मौसम में परीक्षा में नकल की बातें अक्सर सामने आती हैं. जैसे ही परीक्षा का मौसम का खत्म होता है, सबकुछ सामान्य हो जाता है. अब जिस व्यवस्था में पढ़ाई का एक मात्र लक्ष्य परीक्षा पास करना हो, और हमने उसी तरह की परीक्षा प्रणाली भी विकसित की हो जिसमें ज्ञान अजिर्त करना छात्रों का उद्देश्य न हो, बल्कि परीक्षा में अधिक अंक लाना ही एकमात्र उद्देश्य हो,...
More »रिपोर्ट में खुलासा : कुपोषण से नहीं उबर पा रहे 44 फीसदी मासूम
शशिकांत तिवारी, भोपाल। प्रदेश में 44 फीसदी बच्चे कुपोषण से नहीं उबर पा रहे हैं। जबकि इन्हें शासन द्वारा पोषण, इलाज समेत सारी सुविधाएं दी जा रही हैं। कई जिलों में तो ऐसे बच्चों की संख्या एक तिहाई तक पहुंच गई है। इस मामले में राजधानी की स्थिति तो और भी बुरी है। यहां पोषण पुनर्वास केंद्रों (एनआरसी) में भर्ती बच्चों में से 47 फीसदी ही कुपोषण को मात दे...
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