कहते हैं कि पूत के पांव पालने में ही दिख जाते हैं. इसी तरह अपने यहां केंद्र सरकार की असली चाल-ढाल पहले दो-ढाई साल में ही दिख जाती है. बाद का आधा कार्यकाल तो अगले चुनावों का माहौल बनाने में चला जाता है. नरेंद्र मोदी सरकार के साथ तो यह भी दिक्कत है कि कार्यकाल के तीसरे साल में उत्तर प्रदेश और पंजाब जैसे अहम राज्यों के विधानसभा चुनाव होने...
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'वह' बनाम 'यह' के बीच पिसते 'हम' - एनके सिंह
आजादी के बाद से शायद पहली बार देश में इतना जबरदस्त कंफ्यूजन है। तीन स्पष्ट खेमों में समाज बंट गया है। कुछ इस खेमे में हैं तो कुछ उस। सामूहिक सोच या तो राष्ट्रवाद की नई परिभाषा के साथ खड़ी है या देश को बहुमत के दुराग्रहों से निजात दिलाने वालों के साथ। एक लकीर खींच दी गई है यह कहते हुए कि रेखा के उस पार तुम्हारा और इस...
More »प्लास्टिक घास से ढकी छत से बिजली!
छत पर पर्यावरण अनुकूलित बगीचा या सोलर पैनल लगाने का चलन बढ़ रहा है. इस बीच वैज्ञानिकों के एक इंटरनेशनल टीम ने प्लास्टिक घास की तरह के एक मैटेरियल से छत को ढकने का नया आइडिया विकसित किया है, जिसके जरिये बिजली हासिल हो पायेगी. 'साइंस एलर्ट' की रिपोर्ट के मुताबिक, छत पर लगाये गये प्रत्येक प्लास्टिक ब्लेड मिनिएचर विंड टरबाइन की भांति काम करते हैं, जिससे घर में...
More »अहम साल रहा 2015, घातक पर्यावरणीय बदलावों के लिहाज से
बीता वर्ष 2015 अब तक का सबसे गर्म साल रहा है. हालांकि, पिछले करीब एक दशक में कई वर्ष ऐसे रहे हैं, जो उस समय तक सबसे गर्म साल के रूप में आंके गये, लेकिन वर्ष 2015 को इसलिए भी अहम माना जा रहा है, क्योंकि क्लाइमेट चेंज के लिहाज से विशेषज्ञों ने इसे 'टिपिंग प्वाइंट' करार दिया है. क्या इंगित करता है यह टिपिंग प्वाइंट, क्यों जतायी जा रही...
More »दो रुपए की बचत ने छीन ली 43 लोगों की आंख की रोशनी
संदीप चंसौरिया/शशिकांत तिवारी, भोपाल। बड़वानी में जिस संक्रमित आईवी फ्लूड के कारण 43 लोगों की एक आंख की रोशनी चली गई, वह बीएफएस (ब्लो फिल्ड शील्ड) प्लास्टिक की बॉटल में भरा होता है। इस बॉटल की कीमत आठ रुपए है, जबकि इससे महज 2 रुपए महंगी 10 रुपए की एफएफएस (फॉर्म फिल्ड शील्ड) में भरे आईवी फ्लूड के संक्रमिक होने का खतरा कई गुना कम हो जाता है। बड़वानी घटना की...
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