गुरुवार को मानसून विभाग ने रिपोर्ट जारी करके मानसून के कमजोर रहने का अंदेशा जताया है। इसके चलते मुख्य प्रभावित होने वाले राज्यों में पंजाब, राजस्थान, उत्तर प्रदेश और हरियाणा हैं। कमोडिटी बाजार के लिहाज से कल ग्वार, सोयाबीन, चीनी के भाव महत्वपूर्ण रह सकते हैं। आईगुरू रिसर्च के सीईओ शिव श्रीवास्तव का मानना है कि धान, ग्वार, सोयाबीन, चीनी जैसी कमोडिटीज पर इस कमजोर बारिश का सबसे अधिक असर...
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गुजरात इस मामले में भी निकला फिसड्डी
गुजरात है इस मामले में पिछड़ा गुजरात का विकास मॉडल भले ही चुनावी मैदान में नरेंद्र मोदी का अहम हथियार बना हुआ है, लेकिन किसानों को आपदा की मार से बचाने के मामले में गुजरात का प्रदर्शन बेहद फीका है। कृषि मंत्रालय की संशोधित राष्ट्रीय कृषि बीमा योजना को लागू करने में गुजरात पीछे रह गया है। गुजरात के अलावा भाजपा शासित छत्तीसगढ़ की स्थिति भी इस योजना के क्रियान्वयन में काफी...
More »जाति और गुस्से की चुनावी बिसात- नीरजा चौधरी
भारतीय राजनीति में हरियाणा का महत्व दूसरे राज्यों के मुकाबले काफी अलग है। एक तो यह कृषि प्रधान क्षेत्र है, दूसरा यह देश की राजधानी से सटा राज्य है। हरियाणा के 13 जिले राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में आते हैं। इस राज्य ने भारतीय राजनीति को कई बड़े चेहरे दिए और इस बार के आम चुनाव में भी कई बड़े चेहरे यहीं से किस्मत आजमा रहे हैं। इस बार जो सूरत...
More »प्रतिकूल मौसम से गेहूं की सरकारी खरीद 11%घटने की संभावना- आर एस राणा
चालू रबी विपणन सीजन 2014-15 में गेहूं की सरकारी खरीद तय लक्ष्य से 11.2 फीसदी घटकर 270-275 लाख टन ही होने की आशंका है। असमय की बारिश से गेहूं की फसल को नुकसान हुआ है, साथ ही रोलर फ्लोर मिलर्स, निर्यातकों और स्टॉकिस्टों द्वारा गेहूं की ज्यादा खरीद किए जाने की संभावना है। खाद्य मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बिजनेस भास्कर को बताया कि चालू रबी विपणन सीजन 2014-15 में गेहूं की...
More »आदिवासी विकास के दो चेहरे- अरुण कुमार त्रिपाठी
जनसत्ता 9 नवंबर, 2013 : देश के जिन पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव होने जा रहे हैं उनमें से चार राज्य ऐसे हैं जिनमें आदिवासियों की खासी आबादी निवास करती है, यह बात हम राहुल बनाम मोदी की बहस में भूल जा रहे हैं। संयोग से ये चुनाव ऐसे अवसर पर हो रहे हैं जब आदिवासियों के विकास और उनके बारे में सरकार की नई नीति को लेकर बहस उठ...
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