द वायर, 20 दिसंबर संसदीय स्थायी समिति ने सीवर या सेप्टिक टैंक की सफाई के दौरान मारे गए 104 लोगों के परिवारों को मुआवजा जारी करने में केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा देरी बरते जाने की बात कही है. इस संबंध में सामाजिक न्याय और अधिकारिता पर संसद की स्थायी समिति ने 16 दिसंबर को लोकसभा में रिपोर्ट पेश की थी. इस समिति की अध्यक्ष भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सांसद रमा...
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किसानों को बड़ी राहत, खाद सब्सिडी ₹2.5 लाख करोड़ रहने की उम्मीद, जानिए एफएआई ने क्या कहा
एबीपी न्यूज, 07 दिसम्बर भारतीय किसानों को मिलने वाली उर्वरक सब्सिडी को लेकर बड़ी खबर सामने आ रही है. केंद्र सरकार चालू वित्तवर्ष 2022-23 में उर्वरक पर सब्सिडी का दायरा बढ़ाने जा रही है. इस साल यह सब्सिडी बढ़ाकर 2.3 से 2.5 लाख करोड़ रुपये की जाने की उम्मीद है. वही अगले वित्तवर्ष में इसमें 25 फीसदी की बड़ी गिरावट भी आ सकती है. इस बारे में फर्टिलाइजर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (FAI)...
More »कैसे बचेगी जैवविविधता, जब भारत का महज 6 फीसदी से भी कम हिस्सा है संरक्षित
डाउन टू अर्थ, 01 दिसंबर संरक्षित क्षेत्र, जैव विविधता की सुरक्षा के लिए सबसे प्रभावी उपकरणों में से एक हैं, लेकिन इसके बावजूद भारत के कुल क्षेत्रफल का 6 फीसदी से भी कम हिस्सा संरक्षित क्षेत्र है। इस बारे में यूनिवर्सिटी ऑफ ऑक्सफोर्ड द्वारा किए नए अध्ययन से पता चला है कि 2020 में देश का केवल 6 फीसदी हिस्सा संरक्षित क्षेत्र के रूप में घोषित था। वहीं 2010 में यह क्षेत्र...
More »फिर शुरू हो सकता है किसान आंदोलन! राज्यों की राजधानियों में जुटे किसान
गाँव सवेरा, 30 नवम्बर संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के आह्वान पर, आज मजदूरों, छात्रों, युवाओं, महिलाओं और आम लोगों के समर्थन के साथ किसानों ने बड़े मार्च और रैलियां निकाली। अभी तक उपलब्ध जानकारी के अनुसार, इस प्रेस विज्ञप्ति के जारी होने तक, 25 राज्यों की राजधानियों, 300 से अधिक जिला मुख्यालयों और कई तहसील मुख्यालयों पर विरोध सभाएँ आयोजित की गईं। कुल मिलाकर, यह अनुमान है कि पूरे भारत में 3000...
More »पाताल के पानी का भरपूर दोहन कर रहे हैं हरियाणा, पंजाब और राजस्थान
भारत में बारिश के साथ आने वाली खरीफ की सीजन खत्म हो गई है। सर्द हवाओं ने रबी की सीजन का इस्तक़बाल कर दिया है। किसानों ने मोटर–पंपों के माध्यम से पानी को पाताल से खींचना शुरू कर दिया है। नलकूपों में चल रही मशीनों के लिए बिजली सरकार ने भेजी है। यानी राजा और प्रजा दोनों की इच्छा है कि पाताल से पानी खींच कर खेतों में छोड़ा जाए। इसी...
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