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कानपुर में तेजी से पैर पसार रहा है जीका वायरस, 30 नये मरीज के साथ कुल संख्या 66 हुई

-द प्रिंट, कानपुर में 30 और लोग जीका वायरस से संक्रमित पाए गए हैं. इसके साथ ही जिले में जीका वायरस के मरीजों की संख्या बढ़कर 66 हो गयी है. जिलाधिकारी विशाख जी. अय्यर ने शुक्रवार को बताया कि कानपुर में 30 और लोगों में जीका वायरस का संक्रमण पाया गया है. उन्होंने बताया कि जिले में जीका वायरस के संक्रमण का पहला मामला पिछली 23 अक्टूबर को सामने आया था जब भारतीय...

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देश के 15 जिलों की जमीनी पड़ताल-7: दूसरी लहर में क्या था उत्तर प्रदेश, राजस्थान व छत्तीसगढ़ का हाल

-डाउन टू अर्थ, डाउन टू अर्थ ने कोविड-19 की दूसरी लहर के दौरान देश के सबसे अधिक प्रभावित 15 जिलों की जमीनी पड़ताल की और लंबी रिपोर्ट तैयार की। इस रिपोर्ट को अलग-अलग कड़ियों में प्रकाशित किया जा रहा है। पहली कड़ी में आपने पढ़ा कि कैसे 15 जिले के गांव दूसरी लहर की चपेट में आए। दूसरी लहर में आपने पढ़ा अरुणाचल प्रदेश के सबसे प्रभावित जिले का हाल। तीसरी...

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क्या भारत के कोविड डेटा पर विश्वास किया जा सकता है? देखिए यह आंकड़े

-न्यूजलॉन्ड्री, इस लेख में, हम हर दिन हर घंटे पैदा हो रहे कोविड से जुड़े डेटा को समझने का प्रयास करेंगे. लेकिन विस्तार में जाने से पहले आइए समझने की कोशिश करें कि इस लेख का उद्देश्य क्या है? लक्ष्य कोविड-19 महामारी की दूसरी लहर लगता है कि बीत गई है. पिछले कुछ हफ्तों से, कोविड के रोजाना नए मामलों और प्रतिदिन होने वाली मौतों में कमी आ रही है. लेकिन दूसरी लहर...

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जिस तरह अंग्रेजों ने बिरसा मुंडा को जेल में मार डाला, उसी तरह भारत सरकार ने स्टेन को: स्वामी के साथी

-आउटलुक, "लेकिन हम फिर भी समूहों में गाएंगे,  पिंजरे में बंद पंछी अभी भी गा सकता है।" ये शब्द किसी और के नहीं बल्कि फादर स्टेन स्वामी के थे, जिन्होंने जेल से अपने एक साथी जेसुइट पादरी को लिखे पत्र में कहा था। दोनों हाथों में लगातार झटके के साथ तेज पार्किंसंस बीमारी से पीड़ित स्टेन ने पत्र लिखने के लिए इस दर्द को उठाया, क्योंकि वो अन्य कैदियों की दुर्दशा को उजागर...

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क्या तीसरी लहर से पहले खुल पाएंगे ग्रामीण PHC और CHC में लटके ताले?

-जनपथ, कोरोना की दूसरी लहर का सामना करने के बाद जिंदा बचा समाज खुद अपनी पीठ थपथपा रहा है। समाज और यूं कहें कि व्यक्तिगत तौर पर सुकून इस बात का है कि इस बार बच गये लेकिन भीतर खौफ ये कि अगर अगली बारी हमारी हुई तो क्या होगा? खौफ इस बात का है कि जिस सरकार को वोट देकर तख्त पर बिठाया है वो तो राजनीति में व्यस्त है।...

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