हालांकि केंद्र सरकार ने मनरेगा के अन्तर्गत दी जाने वाले मजदूरी को उपभोक्ता मूल्य सूचकांक से जोड़ने की बात मान ली है, फिर भी वह इस मामले में संविधानप्रदत्त न्यूनतम मजदूरी देने में संकोच कर रही है जबकि देश के कई सूबों में अब भी मनरेगा के अन्तर्गत दी जाने वाली मजदूरी न्यूतम मजदूरी से कम है। सरकार का तर्क है कि न्यूनतम मजदूरी दी गई तो बढ़ा हुआ वित्तीय...
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अब तकनीक के शिकंजे में मनरेगा
देहरादून, जागरण ब्यूरो। भविष्य में महात्मा गांधी नेशनल ग्रामीण रोजगार गारंटी एक्ट 'मनरेगा' की प्रगति तकनीकी संजाल में फंस सकती है। केंद्र सरकार भविष्य में उन्हीं राज्यों को अगली किश्तें जारी करेगी जिनका एमआईएस अपडेट होगा। यह तभी संभव है जब ग्राम पंचायत स्तर पर ऑनलाइन फीडिंग की व्यवस्था हो, जो कम से कम साल भर तक उत्तराखंड में संभव नहीं है। केंद्र से 'मनरेगा' में पैसा नहीं मिलेगा...
More »तीन लाख हेक्टेयर क्षेत्र का होगा उपचार
रायपुर। छत्तीसगढ़ में एकीकृत जलग्रहण क्षेत्र प्रबंधन कार्यक्रम के तहत 337 करोड़ रुपये की लागत से लगभग तीन लाख हेक्टेयर क्षेत्र को उपचारित किया जाएगा। आधिकारिक सूत्रों ने सोमवार को यहां बताया कि छत्तीसगढ़ में एकीकृत जलग्रहण क्षेत्र प्रबंधन कार्यक्त्रम के तहत 71 परियोजनाओं को केंद्र द्वारा मंजूरी प्रदान की गई है, जिसकी लागत 337 करोड़ 14 लाख 96 हजार रुपये है। इन परियोजनाओं के माध्यम से आगामी पांच...
More »माताओं-शिशुओं की देखभाल को ई-महतारी योजना
रायपुर। छत्तीसगढ़ में माताओं और शिशुओं के स्वास्थ्य की देखभाल के लिए ई महतारी योजना शुरू की जा रही है, जिसके तहत राज्य में माताओं और शिशुओं की जानकारी की प्रणाली हाईटेक हो जाएगी। आधिकारिक सूत्रों ने शुक्रवार को यहां बताया कि राज्य शासन द्वारा छत्तीसगढ़ की माताओं और शिशुओं के स्वास्थ्य की देखभाल की प्रणाली को हाईटेक किया जा रहा है। इसके लिए स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग...
More »अस्वस्थ बच्चे अस्वस्थ देश के भविष्य
भारत के महापंजीयक की "भारत में मृत्यु के कारण" शीर्षक से जारी रिपोर्ट के अनुसार पाँच साल से कम आयु के करीब आधे बच्चों का वजन सामान्य से कम है और इसका कारण कुपोषण है। ऋतु सारस्वत स्वास्थ्य और मानव विकास एक-दूसरे से घनिष्ठ रूप से जुड़े हुए हैं और यदि स्वास्थ्य का प्रश्न बच्चों से जुड़ा हुआ हो, तो यह और अधिक संवेदनशील विषय हो जाता है। हाल ही में...
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