फैज़ाबाद: संशोधित नागरिकता कानून के खिलाफ प्रदर्शनों की आशंका से डरे अयोध्या के जिला व जेल प्रशासन ने एक अप्रत्याशित व उत्साहपूर्ण कदम उठाकर वहां जेल परिसर स्थित अशफाकुल्ला खां की शहादत स्थली पर 19 दिसंबर यानी शहादत दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित सभी श्रद्धांजलि सभाओं और कार्यक्रमों की मेजबानी की। पर रोका लगा दी है। आम लोगों के लिए वहाँ पहुंचकर शहीद की प्रतिमा पर माल्यार्पण या श्रद्धासुमन अर्पण करने...
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वित्त वर्ष ख़त्म होने में सिर्फ़ तीन महीने बाकी, अल्पसंख्यक मंत्रालय का 70 फीसदी बजट ख़र्च नहीं हुआ
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, अल्पसंख्यक कार्य मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी समेत केंद्र के कई मंत्रियों एवं भाजपा नेताओं ने समय-समय पर ये दावा किया है कि उनकी सरकार अल्पसंख्यकों के विकास के लिए काफी काम कर रही है. ये स्थिति तब है जब पूर्ववर्ती यूपीए सरकार के मुकाबले एनडीए ने अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय को ज्यादा बजट का आवंटन किया है. हालांकि विकास करने के सरकार के ये दावे...
More »“आम आदमी को नहीं मालूम कि कांग्रेस की विचारधारा क्या है”, दार्शनिक राठौड़
आकाश सिंह राठौड़ दार्शनिक हैं, जिन्होंने भारतीय राजनीतिक विचार, न्यायशास्त्र, मानव अधिकारों और दलित नारीवादी सिद्धांत के दर्शन पर काम किया है. राठौड़ ने जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, दिल्ली विश्वविद्यालय, बर्लिन विश्वविद्यालय और न्यू जर्सी स्टेट यूनिवर्सिटी में अध्यापन किया है. फिलहाल वह रोम (इटली) के लुइस विश्वविद्यालय से संबद्ध एथोस नामक थिंक टैंक से जुड़े हैं. वह रीथिंकिंग इंडिया श्रृंखला के संपादक हैं जो 14 संस्करणों का एक संग्रह है....
More »मातृ मृत्यु को कम करने का लक्ष्य अभी दूर है
भारत में मातृ मृत्यु को कम करने का लक्ष्य अब भी बहुत दूर है। उच्च मातृ मृत्यु अनुपात महिलाओं की खराब प्रसव स्वास्थ्य सुविधाओं के अलावा समाज में उनकी भयावह स्थिति को भी दर्शाता है। सैम्पल रजिस्ट्रेशन सिस्टम के ताजा जारी आंकडे बताते हैं कि मातृ मृत्यु अनुपात में तेजी से गिरावट आई है। मातृ मृत्यु अनुपात जहां साल 1997-98 में 398.0 था, वहीं वर्ष 2015-17 में ये आंकड़ा 122.0...
More »क्या अब जीएसटी केंद्र और राज्यों में झगड़े के साथ-साथ महंगाई बढ़ने की वजह भी बनने जा रहा है?
राजनीतिक खबरें अक्सर आर्थिक खबरों को ढक लेती हैं, लेकिन फिर भी आर्थिक मसले अपनी जगह पर बने तो रहते ही हैं. चालू वित्तीय वर्ष की दूसरी तिमाही में जीडीपी वृद्धि दर 4.5 फीसद पर पहुंचने के साथ कुछ और भी ऐसी खबरें आईं जो आर्थिक मंदी के इस दौर में चिंता बढ़ाने वाली हैं. राज्यों से आई ये खबरें भारत के सबसे बड़े आर्थिक सुधार कहे गए जीएसटी को...
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