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लोकसभा चुनावों को देख दंग हैं कई देशों के प्रतिनिधि

दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र कहलाने वाले भारत में 16 वीं लोकसभा के गठन के लिए चल रहे चुनावों को नजदीक से देखने-परखने और सीखने-सराहने की गरज से कई देशों के प्रतिनिधि विभिन्न राज्यों के मतदान केद्रों और चुनाव-दफ्तर का दौरा कर रहे हैं। लीसेथो, नाइजीरिया, मलेशिया, नेपाल और नामीबिया जैसे देशों के इन प्रतिनिधियों का यह दौरा यूनाइटेड नेशन्स डेवलपमेंट प्रोग्राम के साऊथ-साऊथ कोऑपरेशन कार्यक्रम के तहत हुआ है।....

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मजदूर नहीं ले पा रहे हैं योजनाओं का लाभ

झारखंड और बिहार में बड़ी संख्या में बीड़ी मजदूर हैं, जो पीढ़ीयों से इस पेशे में लगे हैं. इन मजदूरों के कल्याण के लिए श्रम कल्याण निधि बनायी गयी है. इस निधि से इन मजदूरों को आवास, स्वास्थ्य, शिक्षा जैसी बुनियादी सुविधाएं दी जानी हैं.  इसके लिए बीड़ी कामगार कल्याण निधि अधिनियम, 1976 भी है और केंद्र सरकार की कई योजनाएं भी, लेकिन बिहार और झारखंड के सभी बीड़ी मजदूरों को इनका...

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कर्ज की फसल से आत्महत्या के आंकड़ों तक- अजय शर्मा

यह 26 फ़रवरी 2009 की बात है, तब अमरजीत कौर की बेटियां 10 और 11 साल की थीं, बेटा गोद में था. हम संगरूर में मूनक इलाक़े के गांव चोटियां में अमरजीत कौर के घर पर थे. अंदाना ब्लॉक का वही गांव जहां अकेले इसी साल आठ किसानों और खेत मज़दूरों ने क़र्ज़ के चलते ख़ुदकुशी की है. पिछले 20 साल में ख़ुदकुशी का यह आंकड़ा 63 तक चला गया है. इनमें से...

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अबला से सबला बनीं इंदिरावती अब दूसरों को दिला रहीं हैं न्याय- राहुल सिंह

लातेहार जिले की चंदवा पूर्वी पंचायत के धोबीटोला की रहने वाली इंदिरावती देवी संघर्ष की बदौलत अपने हक को पाने वाली महिला हैं. कभी दबी-कुचली और ससुराल वालों की प्रताड़ना की शिकार यह महिला सार्वजनिक मंचों के माध्यम से महिलाओं के हक की आवाज बुलंद करती हैं. अपने हक को पाने के साथ उन्होंने कई दूसरी महिलाओं को भी उनका हक दिलाने के लिए संघर्ष किया. एकल नारी सशक्तीकरण संगठन से 2005...

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सरोकार, संस्कृति व पर्यावरण की पहरेदार हैं खूंटी की अमिता- राहुल सिंह टूटी

खूंटी के सेफागड़ा गांव की रहने वाली अमिता टूटी से आप 5-10 मिनट किसी भी विषय पर बात कर लें, तो उनकी गहरी संवेदनशीलता का आपको अहसास हो जायेगा. अपने आसपास व आदिवासी समुदाय के लोगों की परेशानियों और उजड़ते जंगल व पर्यावरण के संकट ने उन्हें जंगल बचाने वाली आंदोलनकारी बना दिया. पिछले आठ-नौ  सालों से वे जंगल बचाओ आंदोलन से जुड़ कर वन रक्षा व उसके विस्तार के लिए...

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