-लोकवाणी, “ एक वह हैं जो अपनी ही सूरत को लेते हैं बिगाड़, एक वह है जिसे तस्वीर बनानी आती है ” आज देश में जगह जगह किसान सरकार की नीतियों से नाराज होकर सड़कों पर रोषप्रकट कर रहें हैं. किसान की उपज की लूट चल रही है, किसान कर्ज में डूबते जा रहें हैं, जिस कारण किसान की ख़ुदकुशी के केस बढ़ते जा रहें हैं, सरकार किसान हितैषी होने का दम भरती...
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एक नजर जलवायु परिवर्तन पर
-इंडिया वाटर पोर्टल, प्रायः ऋतुओं के समय में विचित्र एवं असम्भावित परिवर्तन होते रहते हैं जिससे ऋतुओं का प्रारम्भ अपने निर्धारित क्रमानुसार नहीं होता, जैसा कि होना चाहिए। निर्धारित समय से पूर्व वर्षा ऋतु का आगमन या अभूतपूर्व शीतलहरी आदि अप्रत्याशित घटनाओं को देखकर वैज्ञानिकों का ध्यान ऋतु विपर्यय की ओर गया है। देश-विदेश के विशेषज्ञ अन्तरराष्ट्रीय स्तर पर इस समस्या के अध्ययन में लगे हुए हैं। वे इसे जलवायु परिवर्तन...
More »पर्यावरण दिवस से नदी दिवस तक
-वाटर पोर्टल, इन दिनों बिहार राज्य में पानी और जंगल के लिए पानी रे पानी अभियान चलाया जा रहा है। इस अभियान के अंतर्गत 5 जून से 27 सितम्बर 2020 के बीच नदी चेतना यात्रा निकाली जावेगी। इस यात्रा का शुभारंभ एक जून 2020 अर्थात गंगा दशहरा के दिन कमला नदी के तट पर जनकपुर में हो चुका है। नदी चेतना यात्रा के पहले चरण के दौरान मिथिलांचल की कमला नदी,...
More »यह बात बारहा सामने आई है कि कोरोना जैसी किसी भी महामारी से सर्वाधिक मौतें भारत में होंगी
-न्यूजलॉन्ड्री, इंडियन जर्नल फ़ॉर मेडिकल रीसर्च के मार्च 2018 के संस्करण में ललित कांत और उनके सहकर्मी रणदीप गुलेरिया ने एक लेख लिखा था. इसका शीर्षक था “पैंडेमिक फ़्लू 1918: आफ़्टर हंड्रेड ईयर इंडिया इज़ ऐज़ वल्नरेबल.” इस लेख का मुख्य बिंदु था कि हिंदुस्तान की स्वास्थ्य सेवाओं की जैसी जर्जर हालत है उसे देखते हुए अगर स्पैनिश इनफ़्लुएंज़ा जैसी कोई भी महामारी दुनियां में फैलती है तो विश्व में सर्वाधिक...
More »कोरोना वायरस: उत्तराखंड के भुतहा गांवों में भी लौटे प्रवासी
-न्यूजलॉन्ड्री, पिछले कई सालों से खाली पड़े उत्तराखंड के कई गांवों में अब लोग लौटने लगे हैं. अब तक इन भुतहा हो चुके गांवों में 564 लोगों के वापस लौट आने की ख़बर है. ये वे लोग हैं, जिन्हें राज्य सरकार ने विभिन्न साधनों से उनके गांवों तक पहुंचाया है. अन्य साधनों से अपने इन भुतहा गांवों में पहुंच चुके लोगों की संख्या इससे कहीं ज्यादा हो सकती है. उत्तराखंड ग्रामीण विकास...
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