पिछले दिनों हिमाचल के रोहतांग से लेह तक एक सुरंग के उद्घाटन की खबर को मीडिया में काफी जगह मिली थी. ऐसा इसलिए भी क्योंकि इसका उद्घाटन करने यूपीए की अध्यक्ष सोनिया गांधी खुद गई थीं. राज्य के मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल ने इस सुरंग को रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण करार देते हुए चीन पर आरोप लगाया था कि वह सीमा पर बड़े पैमाने पर बुनियादी ढांचा संबंधी निर्माण कार्य...
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मिश्रित खेती को बचाने की जरूरत: पीएम
पंतनगर [जागरण संवाददाता]। प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने कहा है कि उत्तराखंड की पारंपरिक फसलों का संरक्षण और मिश्रित खेती की पद्धति को बचाने और इसके विकास की आवश्यकता है। उन्होंने मुख्य फसल के साथ अन्य फसलों को बचाने के लिए जैव विविधता को उत्तम उपाय बताते हुए इसको बढ़ावा देने और शोध पर बल दिया। वे शनिवार को गोविंद बल्लभ पंत कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय के 26 वें दीक्षांत समारोह को संबोधित...
More »धरती कहे पुकार के
ढ़ती हुई कीमतें उस आपदा का सिर्फ एक संकेत हैं, जिससे खेती जूझ रही है. दरअसल भारतीय कृषि क्षेत्र बुरी तरह से चरमरा रहा है. संकट से पार पाने के लिए नजरिए में बड़े बदलावों की जरूरत है. लेकिन कृषि मंत्री शरद पवार आपदा की इस आहट को सुनने के लिए तैयार नहीं. अजित साही और राना अय्यूब की रिपोर्ट सरकारी नीतियों से लेकर अखबार की सुर्खियों तक तरजीह पाने वाली...
More »बचा लें जल, बचा लें जीवन
आज विश्व जल दिवस है। हर साल यह दिन 22 मार्च को स्वच्छ पानी के प्रति लोगों में जागरूकता बढ़ाने के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मनाया जाता है। इस बार जल दिवस की विषय-वस्तु है, पेय जल की गुणवत्ता। पानी के महत्व का अहसास प्यास लगने पर ही होता है। पानी का कोई विकल्प नहीं है। इसकी एक-एक बूंद अमृत है। विश्वास करें, अगर अमृत है, तो यही है। अत:...
More »वरदान या अभिशाप- बहस बीटी बैंगन की
ट्वीटर जैसे सोशल नेटवर्क पर अब बहस बैंगन पर आ टिकी हैं और ग्रीन पीस इंडिया जैसे संगठन ने आनुवांशिक रुप से परिवर्धित फसलों के खिलाफ जनमत बनाने के लिए सचमुच दुनिया का सबसे नायाब बैंगन का भर्ता बनाने की ठान ली है।बीटी बैंगन के खिलाफ बहस की आंच तेज हो रही है और बैंगन का सवाल अचानक आनुवांशिक रुप से परिशोधित फसलों की जमीन तैयार करने या फिर उनकी...
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