जयपुर. एक ओर आम जनता बढ़ती महंगाई से परेशान है तो दूसरी ओर कृषि मंत्री का तर्क है कि आम जनता पर महंगाई का कोई असर नहीं पड़ा है। क्योंकि वर्ष 2002 के बाद से सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत राशन सामग्री की दरें नहीं बढ़ाई गई हैं। केन्द्रीय कृषि मंत्री शरद पवार का कहना है कि गन्ने की रिकॉर्ड पैदावार के चलते अगले माह से बाजार में चीनी की दर कम...
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भूखे रहे लोग तो स्थिति विस्फोटक
विश्व खाद्य दिवस पर विशेष भूख से लड़ने में दुनिया भर में हो रहे प्रयासों के बीच भारत की एक तस्वीर यह भी है कि गोदामों में सड़ते अनाज के बावजूद करोड़ों लोग भूखे हैं। उभरती अर्थव्यवस्था के अलावा देश की इस तस्वीर का कारण जो भी हो, विशेषज्ञों का मानना है कि इसका परिणाम देश की छवि धूमिल होने के तौर पर ही सामने आएगा। कृषि प्रधान देश भारत में लोग भूख के कारण...
More »यह सिर्फ़ अनाज का सड़ना नहीं है- कृष्णप्रताप सिंह
1.लूट की आंधी-तूफ़ान की तरह आ रही खबरों ने सरकारी अनाज के गोदामों के बाहर सड़ने की खबरों से लोगों का ध्यान हटा दिया. 2.गैरजिम्मेदार अधिकारियों पर कार्रवाई की बात करनेवाले कृषि मंत्री अब कह रहे हैं कि ज्यादा अनाज सड़ा ही नहीं. 3.जिस मात्रा को वे तुच्छ बता रहे हैं वह कुल भंडारित अनाज का कम से कम 15 प्रतिशत तो है ही. न्याय का सामान्य-सा नियम है कि एक अपराध को...
More »खाद्य महंगाई दर में लगातार दूसरे हफ्ते कमी
नई दिल्ली। देश में खाद्य पदार्थो की महंगाई दर 14 अगस्त को समाप्त सप्ताह में घटकर 10.05 प्रतिशत हो गई है। इससे पिछले सप्ताह में यह दर 10.35 प्रतिशत दर्ज की गई थी। खाद्यान्नों के निर्यात पर प्रतिबंध और अच्छे मानसून से बुआई बढ़ने के चलते खाद्य पदार्थो की कीमतों में लगातार दूसरे सप्ताह कमी आई है। वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक ईंधन कीमतों में...
More »वैश्विक खाद्यान्न उत्पादन- मौजूदा हालात
एफएओ का कहना है कि साल 2010-2011 में अनाज के उत्पादन में रिकार्ड बढ़त( 2279.5 ) होने की संभावना है लेकिन बुरी खबर यह है कि सूखे की मार झेल रहे रूस में इस साल गेहूं के उत्पादन में पिछले साल के मुकाबले तकरीबन एक करोड़ ३० लाख टन कमी आने की आशंका है। साल 2008-09 में रूस में 63.7 मिलियन टन गेहूं का उत्पादन हुआ था जबकि इस साल आशंका है...
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