इंद्रदेव देश के साथ आंख मिचौली खेल रहे हैं. जून में वर्षा सामान्य रही. इसके बाद जुलाई के पहले पखवाड़े में वर्षा बहुत कम रही. सूखे की संभावना बढ़ती जा रही थी. लेकिन जुलाई के दूसरे पखवाड़े में देश के तमाम क्षेत्रों में अच्छी वर्षा होने से स्थिति पुन: सामान्य हो गयी है. वर्तमान में वर्षा सामान्य से मात्र दो प्रतिशत कम है. राजस्थान के दक्षिणी इलाकों में भारी वर्षा...
More »SEARCH RESULT
पीछे हटने को तैयार है मोदी सरकार? - परंजॉय गुहा ठाकुरता
यह तो खैर पहले से ही अनुमान लगाया जा रहा था कि संसद का मानसून सत्र न केवल हंगामाखेज रहेगा, बल्कि वह पूरी तरह से 'धुल" भी सकता है। अब जब ऐसा वस्तुत: होता नजर आ रहा है तो यह किसी के लिए भी अप्रत्याशित नहीं है। सवाल यही था कि क्या इसके बाद मोदी सरकार अपनी नीतियों में बुनियादी बदलाव लाने को मजबूर होगी। संसद में विधायी कार्य ठप...
More »छत्तीसगढ़--14 सालों में साढ़े 14 हजार से अधिक किसानों ने की आत्महत्या
रायपुर। छत्तीसगढ़ में पिछले 14 सालों में 14793 किसानों ने आत्महत्या की है। ये रोंगटे खड़े कर देने वाले आंकड़े राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) के रिकॉर्ड में दर्ज हैं। किसानों की खुदकुशी का यह ग्राफ और भी भयानक हो सकता था, लेकिन एनसीआरबी ने 2011 से 2013 की अवधि में ऐसी मौतों की गणना नहीं की। खेती की बढ़ती लागत, खेती में हो रहे लगातार नुकसान के चलते किसान...
More »छत्तीसगढ़ में नई तकनीक की खेती से फल-सब्जी में हो रहा इजाफा
राजनांदगांव। छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव जिले के किसान अब पारंपरिक फसलों की खेती के साथ फल-सब्जियों की खेती में भी बड़ी हिस्सेदारी निभा रहे हैं। बीते पांच साल में हार्टिकल्चर एरिए में बड़ी तेजी के साथ बढ़त दर्ज की गई है, जिसका परिणाम है कि अब जिले में पैदा होने वाली फल व सब्जियां अन्य प्रदेशों तक पहुंच रही है, जिसका फायदा किसानों को मोटे मुनाफे के रूप में मिल रहा...
More »हजारों किसानों को चपत लगने के बाद पता चलेगा, बीज था बेकार
डॉ. अमरनाथ गोस्वामी, ग्वालियर(मध्यप्रदेश)। हर सीजन में बीजों की सैंपलिंग में लेट-लतीफी और जांच में लगने वाले लंबे समय के कारण यह पूरी प्रक्रिया कागजी कवायद बन कर रह गई है। बीज परीक्षण प्रयोगशाला में जब तक इस बात का खुलासा हो पाता है कि बेचा गया बीज अमानक था तब तक किसान के खेतों में फसल पकने की स्थिति में आ चुकी होती है। ग्वालियर स्थित मध्यप्रदेश की इकलौती बीज...
More »