भारतीय अर्थव्यवस्था एक ऐसे दौर से गुजर रही है जिसमें किसी अच्छी खबर को ढूंढ पाना मुश्किल हो गया है. आर्थिक वृद्धि सुस्त हो गई है. निर्यात निरंतर घटता जा रहा है. खुदरे की महंगाई बढ़ती जा रही है. रोजगार के अवसर नहीं बढ़ रहे हैं. बैंक क्रेडिट ग्रोथ में गिरावट है. बिजली की खपत घट रही है. कर राजस्व काफी धीमी गति से बढ़ रहा है, बजट में लगाए...
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40 दशक में औसत बारिश घटी, इसका क्षेत्रीय असंतुलन भी बढ़ा : सरकार
पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने स्वीकार किया है कि भारत में पिछले चार दशक के दौरान न सिर्फ मौसमी बारिश की औसत मात्रा राष्ट्रीय स्तर पर घटी है बल्कि पिछले एक दशक में मानसून के क्षेत्रीय वितरण का असंतुलन भी बढ़ा है. मौसम विभाग की एक आंकलन रिपोर्ट के मुताबिक वर्षा चक्र में बदलाव का सीधा असर बारिश की अधिकता वाले पूर्वोत्तर राज्यों में बारिश की कमी और कम...
More »पंजाब सरकार का कानून जिसने समूचे उत्तर भारत को स्मॉग के कुचक्र में ढकेला
दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र की राजधानी दिल्ली में हेल्थ एमरजेंसी (स्वास्थ्य आपातकाल) की घोषणा की गई है. धुंध (स्मॉग) की चादर में लिपटी दिल्ली के अलग-अलग क्षेत्रों में हवा की गुणवत्ता “खतरनाक” स्तर को पार कर गई है. सुप्रीम कोर्ट द्वारा स्थापित संस्थान इंवॉयरमेंट पॉल्यूशन (प्रीवेंशन एंड कंट्रोल) ऑथरिटी (ईपीसीए) ने शुक्रवार, एक नवंबर को पब्लिक हेल्थ इमेरजेंसी घोषित कर दिया. भारत की यह खबर दुनिया भर के अखबारों में...
More »हर चार टीबी मरीजों में से एक भारत का; कुपोषण बड़ा कारण है टीबी का
ग्लोबल ट्यूबरक्लोसिस (टीबी) रिपोर्ट 2019 की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक टीबी बीमारी के लिए पांच कारण पाए गए हैं जिसमें से सबसे बड़ा कारण अल्प पोषण का है, यानी कम भोजन मिलना। वर्ष 2018 के दौरान भारत में करीब 7 लाख टीबी मामले अल्प पोषण के कारण पाए गए हैं। अन्य चार टीबी होने के जोखिमों में शराब पीना, धूम्रपान, मधुमेह और एचआईवी का होना शामिल है। डा. शाह आलम खान (एम्स, नई...
More »न्यायपालिका के कामकाज में पारदर्शिता के लिए क्या उसे सूचना के अधिकार कानून के दायरे में आना चाहिए
सरकारी कामकाज में पारदर्शिता लाने के बाद से ही न्यायपालिका के प्रशासनिक कार्यो में भी पारदर्शिता का मुद्दा लगातार उठ रहा है. न्यायपालिका के कामकाज में पारदर्शिता लाने के लगातार प्रयास भी हो रहे हैं. इसके बावजूद एक तथ्य यह भी है कि सूचना के अधिकार कानून का ज़रूरत से ज़्यादा विस्तार करने से न्यायपालिका की स्वतंत्रता पर भी असर पड़ सकता है. सूचना क्रांति और सोशल मीडिया के इस...
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