भाजपा की राष्ट्रीय परिषद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विश्व व्यापार संगठन (डब्ल्यूटीओ) में विकसित देशों के दबाव के आगे नहीं झुकने के अपने निर्णय को जायज ठहराया। उनका तर्क था कि हम खाद्यान्न सबसिडी में ज्यादा कटौती करते हुए देश के लाखों छोटे किसानों की आजीविका को जोखिम में नहीं डाल सकते थे। उनकी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने मोदी के इस विचार का पुरजोर स्वागत किया। जहां तक...
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एशिया का सबसे बड़ा दलहन अनुसंधान केन्द्र मप्र में स्थापित होगा
भोपाल। विश्व के ख्यात अंतर्राष्ट्रीय शुष्क क्षेत्रीय अनुसंधान केन्द्र (इकार्डा) द्वारा दलहनी फसलों के शोध और तकनीकी प्रसारण का एशिया का सबसे बड़ा केन्द्र मध्यप्रदेश में स्थापित किया जायेगा। संस्थान ने केन्द्र हेतु चीन के स्थान पर भारत को चयनित किया है। प्रदेश शासन ने इस उपयोगी संस्थान के लिये सीहोर जिले के अमलाहा में 71 हेक्टयर भूमि उपलब्ध करवायी है। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान से इकार्डा लेबनान के महानिदेशक...
More »खेती की सुध कौन लेगा- धर्मेन्द्रपाल सिंह
जनसत्ता 1 अगस्त, 2014 : मौसम विभाग दावा कर रहा है कि वर्षा सामान्य से केवल दस प्रतिशत कम रहेगी। लेकिन बुआई का कीमती समय निकल जाने की भरपाई कैसे होगी, इसका जवाब उसके पास नहीं है। कृषि मंत्रालय ने एक जून से सत्रह जुलाई के बीच देश भर में धान, दलहन, सोयाबीन, कपास, मूंगफली आदि की बुआई का जो रकबा जारी किया है उसे देख कर लगता है कि इस...
More »फूलों की खेती से हुए मुनाफे ने पाटा किसानों का कर्ज
सुमेधा पुराणिक चौरसिया, इंदौर। आदिवासी इलाकों के किसानों के लिए फूलों की खेती मुनाफे का धंधा साबित हुई। जो किसान गेहूं-चना-सोयाबीन के अलावा कुछ दूसरा बोने की सोच ही नहीं पाए थे। वे अब नई तकनीक से जुड़कर फूलों की खेती कर रहे हैं। कम खर्च में बडा मुनाफा होने से यह खेती किसानों को कर्ज से उबारने में मिल का पत्थर साबित हुई। चोरल के आसपास के करीब पांच...
More »किसानों के लिए आनेवाले दिन बहुत भारी- देविंदर शर्मा
भारतीय मॉनसून के लिए अल नीनो, एक विलेन की तरह माना जाता है. अल नीनो की मार से ऑस्ट्रेलिया और भारत सबसे ज्यादा प्रभावित होते हैं. अल नीनो से सामान्य मॉनसून की हालत बिगड़ने का अंदेशा है, जिससे बारिश कम होने की आशंका जतायी जा रही है. देश के मौसम विभाग ने इस वर्ष अल नीनो के आने की 70 फीसदी तक उम्मीद जतायी है. दरअसल, मॉनसून के सबसे बीचवाले...
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