नई दिल्ली। स्वास्थ्य के क्षेत्र में सहस्राब्दी विकास लक्ष्य [एमजीडी] तक पहुंचने के लिए सरकार के राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य अभियान का देश में असर होता दिखाई देने लगा है। अधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक देश में शिशु और मातृ मृत्यु दर में कमी आ रही है, जिसमें वर्ष 2012 तक और गिरावट आने की संभावना है। वर्ष 2005 में देश में शिशु मृत्यु दर प्रति 1000 पर 55 थी, जो वर्ष 2008 में घट कर 53...
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सेहत की आड़ में सेहत से खिलवाड़
कैंसर से बचाने के लिए हजारों गरीब बच्चियों को एक विवादित टीका लगाया जा रहा है और ऐसा करने के लिए सरकार, कंपनियां और गैरसरकारी संगठन नियम-कायदों की धज्जियां उड़ा रहे हैं. शांतनु गुहा रे और कुणाल मजूमदार की रिपोर्ट नागेश्वर और वेंकटम्मा से जब कोई सरिता के बारे में पूछता है तो वे कुछ नहीं कहते. बस दीवार पर टंगी एक फोटो की तरफ इशारा कर देते हैं. आप कुछ...
More »धरती कहे पुकार के
ढ़ती हुई कीमतें उस आपदा का सिर्फ एक संकेत हैं, जिससे खेती जूझ रही है. दरअसल भारतीय कृषि क्षेत्र बुरी तरह से चरमरा रहा है. संकट से पार पाने के लिए नजरिए में बड़े बदलावों की जरूरत है. लेकिन कृषि मंत्री शरद पवार आपदा की इस आहट को सुनने के लिए तैयार नहीं. अजित साही और राना अय्यूब की रिपोर्ट सरकारी नीतियों से लेकर अखबार की सुर्खियों तक तरजीह पाने वाली...
More »सुंदर वन के संरक्षण में जुटे भारत-बांग्लादेश
कोलकाता [जागरण ब्यूरो]। भारत-बांग्लादेश ने सुंदर वन को ग्लोबल वार्मिग के दुष्प्रभाव से बचाने के लिए मिलकर मुहिम शुरू की है। इसके तहत दोनों देश संरक्षण संबंधी उपायों पर चर्चा व विचारों का आदान-प्रदान करेंगे। इस बाबत एक संयुक्त मंच इसी साल सितंबर तक अस्तित्व में आ जाएगा। मिली जानकारी के अनुसार केंद्रीय पर्यावरण मंत्री जयराम रमेश ने इस बाबत बांग्लादेश के पर्यावरण मंत्री डॉ. हसन महमूद से बातचीत की है। रमेश ने कहा कि...
More »आँखों को बेनूर कर रहा पानी- मीनाक्षी अरोड़ा
बिहार के भोजपुर जिले के बीहिया से अजय कुमार, शाहपुर के परशुराम, बरहरा के शत्रुघ्न और पीरो के अरुण कुमार ये लोग भले ही अलग-अलग इलाकों के हैं, पर इनमें एक बात कॉमन है, वो है इनके बच्चों की आंखों की रोशनी। इनके साथ ही सोलह और अन्य परिवारों में जन्में नवजात शिशुओं की आँखों में रोशनी नहीं है। इनकी आँखों में रोशनी जन्म से ही नहीं है। बिहार के...
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