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खून और स्याही

-द कारवां, वह मेरे जीवन का सबसे वीभत्स दृश्य था. दिल्ली पुलिस के सब्जी मंडी स्थित मुर्दाघर में मैंने जो मंजर देखा वह ऐसा था कि मेरे साथी पत्रकार दीपांकर डे सरकार उल्टियां करने लगे थे. वह 1 नवंबर 1984 का दिन था और इंदिरा गांधी को उनके सिख सुरक्षागार्डों द्वारा गोली मारे जाने के 24 घंटे हुए थे. भयानक हिंसा में निर्दोष सिखों को निशाना बनाया जा रहा था. यह मध्यकालीन न्याय...

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महामारी के दौरान हमारी सरकार और पुलिसिया बर्ताव

-न्यूजलॉन्ड्री, किसी बड़ी महामारी के बीत जाने के बाद, उससे जुड़े कुछ दृश्य और घटनाएं लोक-चेतना में स्थाई निवास बुन लेते हैं. कोरोना की दो लहरों के दौरान हुई मीडिया कवरेज में प्रवासी मजदूरों की घर वापसी, जलती चिताएं, ऑक्सीजन सिलेंडर भरवाने के लिए भागते लोग, स्वास्थ्य व्यवस्थाएं, लोगों के साथ पुलिसिया बर्ताव और सरकारी विज्ञापनों की तस्वीरों और खबरों ने हमारे जेहन में स्थाई जगहें बनाई. भविष्य में जब भी...

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बिहार: बाढ़़ प्रभावित इलाकों में कैसे होगा पंचायत का चुनाव; कैसी हैं चुनाव आयोग की तैयारियां

-न्यूजक्लिक, बिहार के अधिकतर गांवों के लोग मुखिया और सरपंची के चुनाव की तैयारी में लगें हुए हैं। वहीं दरभंगा के पूर्वी प्रखंड में पानी से घिरे गांवों में लोग बोट, राहत शिविर और सामुदायिक रसोई के भरोसे अपनी जिंदगी को जीने की कश्मकश में लगे हुए हैं। कुशेश्वरस्थान के विजय यादव जो 68 साल के हैं, उन्होंने न्यूजक्लिक को बताया कि, “कुशेश्वरस्थान क्षेत्र को बाढ़़ के पानी का अघोषित ससुराल कहा...

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नरेन्द्र मोदी का विरोध लंदन में, "मोदी इस्तीफा दो" का बैनर लटकाकर मांगा मोदी का इस्तीफा

-कारवां, 15 अगस्त की सुबह ब्रिटेन के प्रवासी भारतीय के एक दल ने लंदन के वेस्टमिंस्टर ब्रिज में भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के इस्तीफा की मांग वाला बैनर लटका कर प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने भारतीय उच्चायोग के बाहर मोमबत्तियां जलाकर मोदी शासन के पीड़ितों को याद किया. कार्यक्रम के आयोजकों में से एक दक्षिण एशिया सॉलिडेरिटी ग्रुप के मुक्ति शाह ने इस कार्रवाई के बारे में बताया कि “भारत अपना 75वां...

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प्रथम दृष्टि : खस्ताहाल स्कूल

-आउटलुक, “आज सरकारी स्कूलों में सिर्फ उनके बच्चे पढ़ते हैं जिनकी आर्थिक स्थिति निजी विद्यालयों की फीस भरने लायक नहीं। ऐसे में सरकारी स्कूलों की जर्जर हालत भला कैसे सुधरेगी? पटना हाइकोर्ट का सवाल नीति-नियंताओं के सामने खड़ी चुनौती है” बिहार में शिक्षा विभाग के लिए एक नई मुसीबत आन पड़ी है। एक मामले की सुनवाई के दौरान पटना हाइकोर्ट ने उसे यह बताने को कहा है कि राज्य में कितने सरकारी...

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