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एक अरब आबादी झुग्गियों में रहती हैं. क्या ये वायरस से बच पाएंगे?

-न्यूजलॉन्ड्री, हालांकि, पूरी दुनिया में कोविड-19 महामारी उन लोगों से फैली जो हवाई जहाज और लग्जरी क्रुज़ के खर्चे सहन कर सकते हैं, लेकिन अब यह वायरस सामाजिक रूप से अदृश्य और भुला दिए गए शहरी मलिन बस्तियों में रहने वालों को चुनौती दे रहा है. मलिन बस्तियों में रहने वाले एक अरब लोगों की संयुक्त राष्ट्र ने जो परिभाषा दी है उसके मुताबिक, स्वच्छ पानी और स्वच्छता के अभाव, खराब गुणवत्ता...

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कोविड-19 के मरीजों के लिए फायदेमंद हो सकता है सेल थेरेपी ट्रीटमेंट

-डाउन टू अर्थ, सेल थेरेपी पर आधारित यह उपचार कोरोनावायरस के उन रोगियों के लिए लाभदायक हो सकता है जो सांस सम्बन्धी गंभीर समस्याओं को झेल रहे हैं। यह क्लीनिकल ट्रायल प्रोफेसर डैनी मैकॉली और प्रोफेसर सेसिलिया ओ'केन के नेतृत्व में किया गया है। जोकि क्वींस यूनिवर्सिटी के वेलकम-वोल्फसन इंस्टीट्यूट फॉर एक्सपेरिमेंटल मेडिसिन में शोधकर्ता हैं। इस क्लीनिकल ट्रायल में शोधकर्ता कोविड-19 के कारण मरीजों में होने वाली एक्यूट रेस्पिरेटरी डिस्ट्रेस सिंड्रोम...

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कोविड-19: जहां यूरोप चूक गया उससे भारत को सबक लेना चाहिए

-न्यूजलॉन्ड्री, चीन के डॉक्टरों और वैज्ञानिकों ने 24 जनवरी को नॉवेल कोरोना वायरस से होने वाली नई बीमारी का पहला विवरण प्रस्तुत किया था. उन्होंने बताया था कि कैसे निमोनिया के नए तरह के मामले हुबेई प्रांत की राजधानी और 1.1 करोड़ की आबादी वाले शहर वुहान में पिछले साल के दिसंबर महीने में पहली बार सामने आये थे. उस समय तक नयी बीमारी के 800 मामलों की पुष्टि हो चुकी...

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कोरोना वायरस के बारे में कितना जानते हैं आप और क्या जानना है जरूरी!

-गांव कनेक्शन, नोवेल कोरोना वायरस के बारे में कई तरह की बातें सोशल मीडिया, वाट्सऐप और इंटरनेट के माध्यम से फैल रही हैं। इनमें से कुछ सही हैं, तो बहुत-सी बातें बिल्कुल निराधार हैं। ऐसे समय में जब कोरोना वायरस महामारी बनकर दुनियाभर में हजारों लोगों की जान ले चुका है, तो इससे जुड़े कुछ अनिवार्य पहलुओं के बारे में जानना जरूरी है। संक्रमण: वायरस गले और फेफड़ों में उपकला (epithelial) कोशिकाओं को...

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गरीबी का वायरस और चमकी बुखार- विनोद बंधु

बिहार के तिरहुत प्रमंडल में पांच साल बाद एक्यूट इंसेफलाइटिस सिंड्रोम (एईएस) यानी चमकी बुखार का प्रेत फिर से जाग उठा है। बीते एक पखवाडे़ में इससे सवा सौ से अधिक बच्चों की सांसें थम चुकी हैं। करीब चार सौ बच्चे अस्पतालों में भर्ती कराए गए। मरीजों का आना अब भी जारी है। हर रोज बच्चों की जान जा रही है। इस इलाके के बच्चों और उनके अभिभावकों की आस...

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