शिमला। हिमाचल में भी ऐसे अन्ना हैं जिन्होंने भ्रष्टाचार के खिलाफ निर्णायक लड़ाई लड़ी। उनकी इस लड़ाई में अंतत: भ्रष्टाचारियों को मुंह की खानी पड़ी। पेश हैं ऐसे कुछ चेहरे जिन्होंने जनहित के लिए आवाज उठाई.. हौसले से उजागर हुई मनरेगा की धांधली कमला देवी, घरेलू महिला, मंडी मंडी के पंडोह कस्बे के सरहांडा गांव की कमला देवी ने 2007 में मनरेगा के खिलाफ प्रदेश में पहली एफआईआर दर्ज करवाई थी। कमला देवी को...
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आरटीआई कानून- हंगामा है क्यों बरपा ?
जो कभी इसके पैरोकार थे वही सूचना का अधिकार अधिनियम के कानूनी शक्ल लेने के पाँच साल बाद इतने चिन्तित क्यों है ? किस लिए एक बार फिर से इस मुद्दे पर धरना, रैली, सम्मेलन और भूख-हड़ताल की बाढ़ सी आई हुई है ? इसकी एक वजह तो यही है कि सूचना का अधिकार कानून से जिस मौन क्रांति का चक्का चल पडा है, उसकी गति को निहित स्वार्थवश किए...
More »किसान ही बना सकता है ‘उत्तम प्रदेश’
इलाहाबाद में दो सप्ताह से तनाव है, यहां किसान आंदोलनरत हैं। वे नहीं चाहते कि उनकी खेती की जमीन औने-पौने दाम में लेकर उस पर ‘विकास’ किया जाए। ऐसी ही स्थिति बीते दो सालों के दौरान दिल्ली से सटे नोएडा, गाजियाबाद, अलीगढ़, आगरा आदि में देखने को मिली है। विकास के नाम पर खेत उजाड़ने पर किसान सड़कों पर उतरता है। देश के सबसे विस्तृत राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक केनवस...
More »किसानों को हक दिलाने को होगा आंदोलन
टकी, झरिया : झारखंड कोलियरी श्रमिक यूनियन बीसीसीएल जोन का एक दिवसीय कार्यकर्ता सम्मेलन सोमवार को पुटकी बलिहारी श्रमिक कल्याण केन्द्र में संपन्न हुआ। मजदूरों की मांगों एवं किसानों को हक दिलाने को ले प्रबंधन के विरुद्ध फरवरी माह तक आंदोलन का शंखनाद करने का प्रस्ताव पारित किया गया। यूनियन के केन्द्रीय अध्यक्ष राज किशोर महतो ने संगठन को मजबूत बनाने पर बल दिया। कोल इंडिया प्रबंधन की मजदूर...
More »बीच बहस में न्यूनतम मजदूरी
हालांकि केंद्र सरकार ने मनरेगा के अन्तर्गत दी जाने वाले मजदूरी को उपभोक्ता मूल्य सूचकांक से जोड़ने की बात मान ली है, फिर भी वह इस मामले में संविधानप्रदत्त न्यूनतम मजदूरी देने में संकोच कर रही है जबकि देश के कई सूबों में अब भी मनरेगा के अन्तर्गत दी जाने वाली मजदूरी न्यूतम मजदूरी से कम है। सरकार का तर्क है कि न्यूनतम मजदूरी दी गई तो बढ़ा हुआ वित्तीय...
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