कोलकाता: पश्चिम बंगाल के तटीय क्षेत्र सुंदरवन में रहनेवाले एक तिहाई बच्चे कुपोषण के शिकार हैं. आनेवाले समय में यहां के तीन लाख बच्चे कुपोषण से ग्रसित होंगे और इनमें से 26 हजार बच्चों को इलाज के लिए अस्पताल में भरती कराना पड़ सकता है. सुंदरवन हेल्थ वाच (एसएचडब्लू) की रिपोर्ट में सेहत की यह भयावह स्थिति पेश की गयी है. यही नहीं एक तिहाई माताओं को भी पौष्टिक आहार नहीं...
More »SEARCH RESULT
झारखंड : 46000 बच्चों की हर साल मौत
झारखंड में स्वास्थ्य सेवाओं और जागरूकता के अभाव में हर साल हजारों बच्चों व मां की मौत हो रही है. इसे रोका जा सकता है. कम किया जा सकता है. इसी सिलसिले में प्रभात खबर सामाजिक जिम्मेवारी के तहत यूनिसेफ के साथ मिल कर राज्य के प्रमुख जिला मुख्यालयों में कार्यशाला आयोजित कर रहा है, ताकि जागरूकता फैले, संस्थाएं बेहतर काम करें. लोगों तक सुविधा पहुंचे, उन्हें जानकारी मिले. दोनों...
More »मिडे डे मील त्रासदी(बिहार)- बनेंगे 7276 किचेन शेड
पटना: मशरक के गंडामन प्राथमिक विद्यालय की घटना से सबक लेते हुए राज्य सरकार ने सूबे के 7276 विद्यालयों में इस साल किचेन शेड बनाने का निर्णय लिया है. तीन दिनों के अंदर इसके लिए 180 करोड़ रुपये का आवंटन होगा. मिड-डे-मील योजना के निदेशक आर लक्ष्मनन ने कहा कि डेढ़ लाख से लेकर ढाई लाख रुपये तक की लागत से किचेन शेड का निर्माण होगा. बच्चों की संख्या के आधार पर...
More »शोध:सफाई का रिश्ता बच्चों की लंबाई और बुद्धिमत्ता से
भारत और उप-सहारीय अफ्रीका में मौजूद कुपोषण की तुलनात्मक व्याख्या के लिए अर्थशास्त्र के कुछ जानी-मानी हस्तियों के बीच बहस इस बात पर उलझी है कि आणुवांशिक बनावट इसके लिए किस कोण से जिम्मेदार है। इसी बीच सार्वजनिक स्वास्थ्य-विशेषज्ञ और दिल्ली स्कूल ऑव इकॉनॉमिक्स के विजिटिंग फैलो डीन स्पीयर्स ने इस बात के सबूत जुटाये हैं कि साफ-सफाई की कमी और खुले में शौच करने का रिश्ता कुपोषण और उच्च...
More »अस्पताल में रिक्शाचालक ने लगाया इंजेक्शन,बच्चे की मौत
बलिया : उत्तर प्रदेश के बलिया जिले में जिला अस्पताल में भर्ती एक बच्चे की कथित तौर पर डाक्टरों का ‘हाथ बंटा रहे' एक नशेड़ी रिक्शाचालक के इंजेक्शन लगाने के बाद मृत्यु हो गयी. इस मामले में अस्पताल के एक डाक्टर समेत तीन लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया. अपर पुलिस अधीक्षक केसी गोस्वामी ने आज यहां बताया कि कल जिला अस्पताल के आपातकालीन वार्ड में भर्ती आठ माह...
More »