रायपुर/धमतरी/राजनांदगांव, ब्यूरो। राष्ट्रीय स्वच्छता मिशन ने छत्तीसगढ़ के सामुदायिक स्वच्छता मॉडल को बेहतर मानते हुए दूसरे राज्यों को भी इसका अध्ययन करने कहा है। सोमवार को 5 राज्यों महाराष्ट्र, तमिलनाडु, कर्नाटक, आंध्रप्रदेश व तेलंगाना के कलेक्टर, जिला पंचायत अध्यक्ष, सीईओ व स्वच्छता मिशन के अफसर राज्य के दौरे पर पहुंचे। मंगलवार को मंत्रालय में पंचायत मंत्री अजय चंद्राकर ने इस 20 सदस्यीय दल को अभियान को सफल बताया। उपलब्धियों के सरकारी...
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ढाई साल का ऐतिहासिक सफरनामा-- एम वेंकैया नायडू
यूपीए के एक दशक के दागदार शासन के बाद हमने शुरुआत की थी, तब से लेकर आज दुनिया की सबसे तेजी से विकास कर रही अर्थव्यवस्थाओं में एक गिने जाने तक, यानी एनडीए-दो के ढाई साल के शासनकाल में भारत की तरक्की की कहानी कई परिवर्तनकारी कदमों के सहारे आगे बढ़ी है। इन कदमों ने न सिर्फ देश की छवि दुनिया भर में निखारी, बल्कि देश के नागरिकों के जीवन-स्तर...
More »बुजुर्गों ने कहा- हमें खुले में ही जाने पर मिलता है सुकून
ग्वालियर, नईदुनिया न्यूज। खुले में शौच मुक्त घोषित ग्वालियर के सर्वे के लिए आई क्वालिटी काउंसिल ऑफ इंडिया (क्यूसीआई) टीम ने मंगलवार को ग्रामीण क्षेत्र के वार्डों का निरीक्षण किया। यहां कुछ स्थानों को छोड़कर अन्य सभी लोगों के घर निजी शौचालय बने मिले। शौचालय होने के बाद भी गांव के कुछ बुजुर्गों ने स्वीकार किया कि वह घर में शौचालय होने के बाद भी खुले में ही शौच के...
More »खेतों का संकट और कुश्ती के अखाड़े-- हरिवंश चतुर्वेदी
ग्लैमर, प्रेम और रोमांस से भरी बॉलीवुड फिल्मों से ऊबे दर्शक अब खेलकूद और खिलाड़ियों की जीवनियों से जुड़ी फिल्मों को ज्यादा पसंद कर रहे है। लगान, चक दे! इंडिया, भाग मिल्खा भाग, पान सिंह तोमर और मैरी कोम जैसी फिल्मों की सफलता से उत्साहित बॉलीवुड निर्माताओं का ध्यान हाल के वर्षों में कुश्ती से जुड़ी कहानियों पर गया है। सलमान खान पश्चिम उत्तर देश की कुश्ती से जुड़ी कहानी...
More »नोटबंदी से नायाब तरीके से निपट रहा है ये गांव
भारत में नोटबंदी के बाद से आम लोगों को काफ़ी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. ऐसे में पश्चिम बंगाल के बृंदाबनपुर गांव के लोगों ने मुश्किलों से निपटने का आसान और बेहद पुराना तरीका निकाला है. भारत की अर्थव्यवस्था में 500 और 1000 रुपए के नोट का इस्तेमाल बंद होने से पहले, ये बाज़ार में कुल मुद्रा का 86 फ़ीसदी थे. इनके बाज़ार से बाहर होने के बाद रिज़र्व बैंक...
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