बजट सत्र शुरू हुआ और सरकार का 500 पन्नेवाला ताजा आर्थिक सर्वेक्षण सोमवार को (संभवत: पहली बार) एक गुलाबी रंग की खुशनुमा जिल्द में लपेटकर संसद में पेश किया गया. बताया गया, गुलाबी रंग महिला शक्ति का प्रतीक है, मां तुझे सलाम! तब से जानकार लोग कह रहे हैं कि चुनाव का माहौल बनने लगा है और बहनों की आबादी कुल की पचास फीसदी यानी सबसे बड़ा वोट बैंक है....
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आर्थिक समीक्षा में बजट की झलक-- राजेश रपरिया
राष्ट्रपति के अभिभाषण के बाद पेश आर्थिक समीक्षा 2017-18 से उम्मीद जतायी गयी है कि 2018-19 में 7 से 7.5 फीसदी आर्थिक वृद्धि हासिल करने के बाद भारत एक बार फिर दुनिया की सबसे तेजी से बढ़नेवाली बड़ी अर्थव्यवस्था बन जायेगा. इस समीक्षा में 2017-18 में 6.75 फीसदी आर्थिक वृद्धि का अनुमान लगाया है. इससे पहले केंद्रीय सांख्यिकीय कार्यालय ने चालू वित्त वर्ष के दौरान आर्थिक वृद्धि 6.5 फीसदी रहने...
More »राजनीतिक शक्ति बनें किसान-- राजकुमार सिंह
अगर किसी कृषि प्रधान देश में कृषि और किसान ही संकट में आ जायें तो देश की दशा-दिशा का अंदाजा लगा पाना मुश्किल नहीं होना चाहिए। भारत एक कृषि प्रधान देश है, यह बात दशकों से पाठ्य पुस्तकों में पढ़ायी जाती रही है, क्योंकि लगभग 80 प्रतिशत तक आबादी जीवनयापन के लिए कृषि और उससे जुड़े काम-धंधों पर निर्भर रही है। इसलिए ग्रामीण भारत को ही असली भारत भी कहा...
More »गंभीर होते खेती व रोजगार के सवाल - प्रदीप सिंह
लोकसभा चुनाव अभी सवा साल दूर हैं। इसे यों भी कह सकते हैं कि लोकसभा चुनाव में बस 16 महीने रह गए हैं। सभी राजनीतिक दलों ने चुनाव की तैयारी अभी से शुरू कर दी है। 2014 के लोकसभा चुनाव और 2019 के चुनाव में एक बड़ा फर्क होगा। तब कांग्रेस सत्ता में थी और उससे सवाल पूछे जा रहे थे। आज भाजपा सत्ता में है और उससे जवाब मांगा...
More »खत्म होंगे अंग्रेजों के जमाने के कानून
संसद ने 245 पुराने एवं अप्रासंगिक कानूनों को निष्प्रभावी बनाने वाले निरसन और संशोधन विधेयक 2017 तथा निरसन और संशोधन (दूसरा) विधेयक 2017 को आज मंजूरी दे दी। राज्यसभा ने आज इन दोनों विधेयकों को संयुक्त चर्चा के बाद ध्वनिमत से पारित कर दिया गया। लोकसभा इन्हें पहले ही पारित कर चुकी है। उच्च सदन में विधेयक पर चर्चा का जवाब देते हुए विधि एवं न्याय राज्य मंत्री पीपी चौधरी ने...
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