SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 3863

काली की मेहनत से बंजर में छायी हरियाली- शिकोह अलबदर

रांची से पलामू जाने वाले एनएच - 75 पर  ब्रांबे से उेढ़-दो किमी बायीं ओर लगभग छह-सात एकड़ भूमि में हरी-भरी सब्जियां की फसल, फूल और फल आपको हर मौसम में दिख जायेंगे. बरबस आपका ध्यान यह दृश्य अपनी ओर आकर्षित कर लेगा. इन खेतों में आपको तमाम तरह के मौसमी सब्जियां मिल जायेंगी. ये जमीन कई वर्ष तक बंजर पड़ी रही थीं. लेकिन एक इनसान की मेहनत और लगन...

More »

‘जंगल हम-आपका, नहीं किसी के बाप का ’- अविनाश कुमार चंचल

अवधेश की उम्र का हिसाब रखने के लिए न तो उसके पास मां है और न बाप. शायद इसलिए हमने उससे उसकी उम्र जाननी चाही तो उसने तपाक जवाब दिया, ‘चौथी कक्षा में पढ़ता हूं.’ चौथी कक्षा ही उसकी उम्र को बयां करती है. झट हम भी हिसाब लगाते हैं- दस साल. अवधेश सिंह पनिका दस साल का बच्चा है. आदिवासी परिवार में पैदा हुआ. मध्य भारत के घने जंगलों से घिरे...

More »

18 जिलों के लोगों की हड्डियां कमजोर कर रहा पानी, फ्लोराइड अधिक

प्रशांत गुप्ता, रायपुर। प्रदेश के 27 में से 18 जिलों और इन 18 जिलों के 592 गांव ऐसे हैं, जहां पीने के पानी में फ्लोराइड (फ्लोरोसिस) की मात्रा सामान्य से अधिक है। यह खुलासा राज्य स्वास्थ्य यांत्रिकी (पीएचई) विभाग की रिपोर्ट में हुआ है। स्वास्थ्य विभाग की सर्वे रिपोर्ट भी यही खुलासा कर रही है। प्रभावित गांवों में दंतरोग और हड्डियों से संबंधित बीमारियों के मरीजों की संख्या बढ़ती चली...

More »

बुलंद हौसले के लिए सम्मानित हुईं 21 महिलाएं

जी हां, तमाम बाधाओं को पारकर अपने बुलंद हौसलों से मुकाम हासिल कर समूचे नारी वर्ग के लिए नजीर बनीं देश की 21 महिलाओं को गुरुवार को राष्ट्रीय महिला आयोग ने विभिन्न क्षेत्रों में उनके अतुलनीय योगदान के लिए सम्मानित किया। पश्चिम बंगाल के 24परगना के गांव की नासिमा खातून के हाथ -पैर छह वर्ष की आयु में तेज बुखार से तंत्रिका तंत्र पर असर पड़ने के कारण खराब हो गये...

More »

इस बार के चुनाव में खेती-किसानी मुद्दा क्यों नहीं है- हरवीर सिंह

इंदिरा गांधी के इमरजेंसी राज के बाद 1977 में हुए लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को जिस जनता पार्टी ने सत्ता से बेदखल किया, उसका चुनाव चिह्न हलधर था। उस चुनाव का एक नारा था, देश की खुशहाली का रास्ता खेतों और गांवों से होकर जाता है। साफ है कि तब राजनीति के केंद्र में किसान और गांव-देहात था। अब सोलहवीं लोकसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है। इस चुनाव में मध्यवर्ग,...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close