SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 1142

राज्यों में किसानों के लिए कर्जमाफी की योजनाओं से केंद्र पर दबाव बढ़ा

आम चुनावों (Loksabha Elections) से ठीक पहले कई राज्यों द्वारा किसानों के लिए कर्जमाफी (farmers loan waiver) और नकद राशि हस्तांतरण योजनाएं शुरू करने से केंद्र पर दबाव बढ़ने लगा है। किसानों को राहत देने के लिए हालांकि केंद्र में भी शीर्ष स्तर पर विचार-विमर्श चल रहा है। लेकिन गैर-भाजपा शासित राज्यों में ऐसी योजनाओं से भाजपा शासित राज्यों पर भी दबाव बढ़ रहा है। दिसंबर में तीन राज्यों मध्य...

More »

दक्षिण ने इस साल नई करवट ली -- एस श्रीनिवास

जब 2018 अपनी ढलान की ओर था, तभी सबरीमाला मंदिर पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया। यह फैसला सभी उम्र की औरतों को भगवान अयप्पा की पूजा करने का अधिकार देता है और धार्मिक मामलों के सामूहिक प्रबंधन पर पूजा-अर्चना की व्यक्तिगत स्वतंत्रता, गरिमा और समानता के सांविधानिक अधिकारों की रक्षा करता है। अयप्पा मंदिर प्रबंधन 10 से 50 साल की महिलाओं को मंदिर में प्रवेश की इजाजत नहीं देता,...

More »

योगी आदित्यनाथ ने गोरक्षा के लिए जारी किए 160 करोड़ रुपये

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ की सरकार ने राज्य के प्रत्येक नगर निगम को आवारा पशुओं के लिए आश्रय गृह बनाने के लिए 10 करोड़ रुपये दिए हैं. योगी सरकार की इस बात को लेकर आलोचना होती रही है कि सत्तारूढ़ भाजपा राजनीतिक लाभ के लिए गोरक्षा के मुद्दे को उछाल रही है.   द टेलीग्राफ की रिपोर्ट के मुताबिक प्रदेश के 16 नगर निगमों के लिए 160 करोड़ रुपये की...

More »

समस्या की अनदेखी करते समाधान-- हिमांशु

छत्तीसगढ़, मध्य प्रदेश और राजस्थान के विधानसभा चुनावों में कांग्रेस की जीत ने कृषि संकट को राजनीतिक बहस के केंद्र में ला दिया है। इस चुनावी जीत के निश्चय ही कई कारक थे, लेकिन खेतिहरों की दुश्वारियां इन सबमें प्रमुख थीं। यह माना जाता है कि सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी कृषि संकट को लेकर उदासीन रही है, बल्कि कुछ हद तक उसने इसे बढ़ाया ही है, लेकिन वास्तव में इस...

More »

जीत गईं जातियां, हार गईं जातियां- जिल वर्निस

मध्य प्रदेश और राजस्थान जैसे प्रमुख हिंदी भाषी प्रदेशों में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर कांग्रेस की जीत 2014 के लोकसभा चुनावों के बाद से भारत में हुआ सबसे बड़ा राजनीतिक उलटफेर है। मगर नवनिर्वाचित विधायकों का जातिगत विश्लेषण यह बताता है कि इन दोनों सूबों में सत्ता का बंटवारा जिन-जिन सामाजिक समूहों में है, उनके सियासी रुतबे में इस राजनीतिक बदलाव के बावजूद कोई बड़ा फेरबदल नहीं हुआ है।...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close