संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन सरकार के दूसरे कार्यकाल का बड़ा अहम फैसला संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन की सरकार ने अपने दूसरे कार्यकाल में बड़ा फैसला करते हुए राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक को पास कराने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगा दिया। कड़ी जद्दोजहद के बाद आखिरकार विधेयक पास भी हो गया। लेकिन इसी के साथ आर्थिक संकट से जूझ रहे राजकोष पर पडऩे वाले...
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गांव लौटने की मजबूरी - देविंदर शर्मा
बीते सात वर्षों में जिन किसानों ने खेती छोड़कर वैकल्पिक रोजगार अपना लिया था, आगामी कुछ महीनों में उनमें से डेढ़ करोड़ किसानों के थक-हारकर अपने गांव लौट आने की संभावना है। सामान्य स्थितियों में इतने बड़े स्तर पर किसानों के शहरों से गांव लौटने को समावेशी विकास का संकेत माना जाता। लेकिन अर्थशास्त्री इस यू-टर्न को आर्थिक मंदी का नतीजा बता रहे हैं। क्रिसिल ने भी अपनी रिपोर्ट में इसे...
More »34 हजार करोड़ का ही रहेगा योजना आकार
पटना: सरकार योजना राशि खर्च नहीं करनेवाले विभागों के बजट में कटौती करने जा रही है. इसका पहला मकसद, जो विभाग राशि खर्च करने की स्थिति में हैं, उन्हें अतिरिक्त राशि उपलब्ध कराना. दूसरा मकसद, केंद्रीय करों में हिस्सेदारी में संभावित 3000 करोड़ की कटौती के मद्देनजर विभागों के बीच बजटीय संतुलन बनाये रखना है. वित्त विभाग ने योजना एवं विकास विभाग को योजना उद्व्यय और खर्च की स्थिति की समीक्षा कर...
More »शीघ्र शुरू होगी खनिज संपदा की रखवाली
पटना: खनिज संसाधन के बेहतर विकास व उपयोग और अवैध उत्खनन पर लगाम लगाने के लिए बिहार राज्य खनिज निगम जल्द ही अस्तित्व में आ जायेगा. निगम के अस्तित्व में आने से राज्य की खनिज संपदा की बेहतर रखवाली और हर साल होनेवाले राजस्व नुकसान पर काबू पाया जा सकेगा. वर्ष 2014 में खनिज से कुल 641 करोड़ रुपये की राजस्व प्राप्ति का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. केवल बालू के उत्खनन व उठाव...
More »हमारी विकास नीति में उनकी जगह- सुनील
कुछ साल पहले की बात है। दिल्ली जाने पर मैं जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में अर्थशास्त्र के एक प्राध्यापक से मिलने गया था। चर्चा के दौरान मैंने कहा कि पांचवें-छठे वेतन आयोग ने प्रथम और द्वितीय श्रेणी के अफसरों-प्रोफेसरों के वेतन बहुत बढ़ाए हैं, जिससे समाज में गैरबराबरी और उपभोक्ता संस्कृति को बढ़ावा मिला है। उन्होंने तुरंत उसका बचाव करते हुए कहा कि वेतन बढ़ाना जरूरी है, नहीं तो विश्वविद्यालय में...
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