नयी दिल्ली: भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर रघुराम राजन की मौद्रिक नीतियों की एक तरह से आलोचना करते हुए केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज कहा कि उंची ब्याज दरें उद्योग जगत विशेष छोटे व मझौले उद्यमों की लागत प्रतियोगितात्मकता को प्रभावित कर रही हैं. मंत्री ने कहा कि वे इस मुद्दे को पहले ही वित्त मंत्री के समक्ष उठा चुकी हैं और उन्होंने इस बारे में केंद्रीय बैंक को...
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सेना से मिले बर्तन ने विधवा को 65 साल बाद दिलाई पेंशन
जयपुर। राजस्थान के सीकर जिले के श्रीमाधोपुर में रहने वाली सैन्य की विधवा राजकंवर को आखिर 65 वर्ष बाद पेंशन मिल सकेगी। उनकी पेंशन सेना की ओर से मिले एक भोजन पात्र के कारण सम्भव हो पाई है। राजकंवर के पति चुन्नी सिंह नवम्बर 1942 में भारतीय सेना में घुड़सवार के रूप में भर्ती हुए थे। उन्होने द्वितीय विश्युद्ध में हिस्सा लिया और 1950 में घर आए। वर्ष 1952 में उनकी...
More »खतरे का खाद्य
खाने-पीने की चीजों को लेकर होने वाले अध्ययन अमूमन अब तक डिब्बाबंद खाद्य पदार्थ, पित्जा-बर्गर जैसे दूसरे फास्ट फूड या फिर ठंडे पेय पर केंद्रित रहे हैं। अब सीएसई यानी दिल्ली स्थित गैर-सरकारी संगठन विज्ञान एवं पर्यावरण केंद्र के ताजा अध्ययन ने जिस तरह ब्रेड में कैंसर जैसी घातक बीमारी के तत्त्व पाए जाने का खुलासा किया है, वह ज्यादा बड़ी चिंता की वजह है। दूसरे डिब्बाबंद खाद्य के मुकाबले...
More »जरूरी है विदेशी निवेश की जांच-- डा. भरत झुनझुनवाला
दुनिया के तमाम नेताओं और फिल्मी हस्तियों के नाम पनामा पेपर्स में उजागर हुए हैं. जवाब में ज्यादातर ने कहा कि उन्होंने कोई गैर कानूनी काम नहीं किया है. मूल रूप से इनके वक्तव्य सही हैं. हमारे देश के कानून के अनुसार, पनामा में कंपनी को पंजीकृत कराना और वहां व्यापार करना गलत नहीं है. गलत तब होता है, जब पनामा की कंपनी का उपयोग भारत में टैक्स की चोरी...
More »न्यायपालिका को तो बख्श दें: एन के सिंह
फ्रांस के समाजशास्त्री अलेक्सी डे टॉक्विले और ब्रिटेन के राजनीतिक दार्शनिक जॉन स्टुअर्ट मिल, दोनों ने 25 साल के अंतराल में लोकतंत्र के दो नए खतरों के प्रति आगाह किया था। पहले का मानना था कि इसमें बहुमत के आतंक के शिकार व्यक्ति के पास बचने का कोई चारा नहीं होता। दूसरे ने इस भय की ओर इंगित किया था कि प्रजातंत्र मात्र एक शासन पद्धति न होकर असंगठित भीड़ की...
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