प्रकाशन और कई किस्म के सामाजिक हस्तक्षेप के जरिए भारतीय स्त्री विमर्श को एक नई दिशा देने वाली उर्वशी बुटालिया को आज भारतीय नारीवाद की एक पुरजोर आवाज के तौर पर पहचाना जाता है. भारतीय महिला आंदोलनों के बिखराव और उनकी वर्तमान दिशा पर प्रियंका दुबे ने उर्वशी के साथ विस्तार से बातचीत की आप पिछले 45 वर्षों से भारतीय स्त्री विमर्श का हिस्सा रही हैं. इस दौरान हुए बदलावों...
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भगवान भरोसे विज्ञानी बाबू - ।।रजनीश उपाध्याय।।
दुनिया के दो महान व्यक्तित्व. दोनों तेज दिमाग के. अति प्रतिभावान. ग्रेट साइंटिस्ट. लगभग समकालीन भी. एक ने भारत के छोटे से गांव में जन्म लिया. नाम - वशिष्ठ नारायण सिंह. अभावों के बीच अपनी मेधा के बल पर राह बनायी और यूनिवर्सिटी ऑफ कैलिफोर्निया तक पहुंचे. दूसरे ने भी अपनी मेधा का लोहा मनवाया और कैंब्रिज यूनिवर्सिटी में शोध किया. नाम - स्टीफन विलियम हॉकिंग. दोनों गणित में पारंगत. वशिष्ठ...
More »देवकी जैन: आम औरत की खास अर्थशास्त्री
केवल संयोगवश एक अर्थशास्त्री और नारीवादी बनी देवकी जैन विकासशील विश्व की प्रमुख ‘नारीवादी अर्थशास्त्री’(फेमिनिस्ट इकोनॉमिस्ट) हैं. उच्च अध्ययन के लिए ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के रस्किन कॉलेज गयीं, भारत लौट कर देवकी जैन ने भारतीय सहकारी आंदोलन के लिए काम करना शुरू किया. वह विनोबा भावे के भूदान आंदोलन में शामिल हो गयीं और पदयात्र की. 1966 में प्रसिद्ध गांधीवादी अर्थशास्त्री लक्ष्मी चंद जैन से विवाह किया. संयुक्त राष्ट्र सम्मेलन हेतु किताब के...
More »स्वाइन फ्लू से हो सकता है मृत शिशु का जन्म
गर्भावस्था के दौरान स्वाइन फ्लू संक्रमित महिलाओं में मृत शिशुओं या विसंगती वाले शिशुओं के जन्म देने का खतरा बेहद बढ जाता है। ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय की नेशनल पेरीनैटल इपिडेमियोलॉजी इकाई के नये अध्ययन में गर्भवती महिलाओं से फ्लू से बचने के लिए वैक्सीन लेने की सलाह दी गई है। अनुसंधानकर्ताओं ने ब्रिटेन के अस्पतालों में भर्ती और फ्लू की शिकार हर गर्भवती महिला के मामले का अध्ययन किया। अध्ययन...
More »असंगति का संगीत- रोहिणी मोहन
कुछ मामलों में एक जैसे और ज्यादातर मामलों में एक-दूसरे से जुदा शांति और प्रशांत भूषण के छुए-अनछुए पहलुओं की पड़ताल करती रोहिणी मोहन की रिपोर्ट मई, 1995 की एक दोपहर को सामाजिक कार्यकर्ता हिमांशु ठक्कर अपने वकीलों प्रशांत और शांति भूषण के साथ सर्वोच्च न्यायालय में बैठे हुए थे. उनसे जरा-सी दूरी पर मुख्य न्यायाधीश एएस आनंद एक ऐसा फैसला सुना रहे थे जो पूर्वी गुजरात के कम से कम...
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