SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 270

नौबत बाजा: रेडियो मिस्ड काॅल के जरिए बाल विवाह के खिलाफ जागरूकता फैलाने की अनूठी तकनीक

-लोक संवाद, मोबाइल फोन और रेडियो चैनल को आपस में जोड कर शिक्षा व मनोरंजन की तकनीक से इस्तेमाल किया गया एक नया प्रयोग नौबत बाजा रेडियो मिस्ड काॅल वाला बाल विवाह के खिलाफ जागरूकता फैला रहा... काॅलर को सिर्फ 7733959595  पर मिस्ड काॅल देनी होती है। इसके बाद दूसरे नम्बर से काॅल होती है और उस पर होती है ढेर सारी जानकारियां और मनोरंजक बातें।  राजस्थान में शिक्षा का प्रसार भले ही...

More »

इंटरव्यू- भारत में व्यावसायिक राजनीति है: मीरा नायर

-आउटलुक, सलाम बॉम्बे (1988) और मॉनसून वेडिंग (2001) जैसी सदाबहार फिल्मों के लिए पहचानी जाने वाली अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त फिल्मकार मीरा नायर ने बीबीसी वन टेलीविजन की मिनी सीरीज के साथ वापसी की है। 1993 में विक्रम सेठ के बेस्ट सेलर उपन्यास ए सूटेबल बॉय पर इसी नाम से उन्होंने यह मिनी सीरीज बनाई है, जो अब नेटफ्लिक्स पर देखी जा सकती है। न्यूयॉर्क में रहने वाली फिल्मकार ने गिरिधर झा...

More »

दुनिया का हर छठा बच्चा घोर ग़रीबी में, महामारी से यह संख्या बढ़ने की आशंका: रिपोर्ट

-द वायर, कोविड-19 महामारी शुरू होने से पहले दुनिया का हर छठा बच्चा (करीब 35.6 करोड़) घोर गरीबी में जीवनयापन कर रहा था और यह स्थिति और खराब होने की आशंका है. यह आकलन विश्व बैंक और संयुक्त राष्ट्र बाल कोष (यूनिसेफ) की नवीनतम विश्लेषण रिपोर्ट में किया गया है. ‘ग्लोबल एस्टीमेट ऑफ चिल्ड्रेन इन मॉनिटरी पॉवर्टी : ऑन अपडेट’ नाम से जारी रिपोर्ट में रेखांकित किया गया है कि उप सहारा...

More »

कैसे पंचवर्षीय योजनाओं ने हिंदुस्तान की आर्थिक बुनियाद को टेढ़ा कर दिया

-सत्याग्रह, अब तक हमने जाना कि कैसे आजादी के बाद 1948 में राज्यों का एकीकरण हुआ - हैदराबाद, जूनागढ़ की ना-नुकर और कश्मीर का एक लड़ाई और कुछ शर्तों के साथ हिंदुस्तान में विलय. 1949 में आरबीआई का राष्ट्रीयकरण हुआ और 1950 में देश अपने नये संविधान के साथ गणतंत्र बना. देखा जाए तो इसके साथ देश का भौगोलिक और संवैधानिक ढांचा बनकर तैयार हो गया था. अब बारी थी आर्थिक...

More »

2020 में हम भारतीयों को 1920 के इटली को जानने की जरूरत क्यों है?

-सत्याग्रह, मैं जीवनियां खूब पढ़ता हूं. इनमें बहुत सी विदेशी हस्तियों की होती हैं जो उनके देश, काल और परिस्थितियों के बारे में बताती हैं. हाल ही में मैंने कनाडाई विद्वान फाबियो फर्नांडो रिजी की किताब ‘बेनेडेट्टो क्रोसे एंड इटैलियन फासिज्म’ खत्म की है. इस किताब में एक महान दार्शनिक की जीवनी के सहारे उस दौर की एक बड़ी सच्चाई बताई गई है. रिजी की किताब पढ़ने के बाद मुझे 1920 के...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close