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देश में वस्तुओं की तुलना में सेवाएं ज्‍यादा महंगी: सर्वे

नयी दिल्ली: देश में तेजी से बढती महंगाई से परेशान मध्यम वर्ग के लोगों की जेब वस्तुओं के मुकाबले शिक्षा, इलाज, परिवहन जैसी सेवाओं की महंगाई के कारण ज्यादा ढीली हो रही है. उद्योग मंडल एसोचैम के एक अध्ययन के मुताबिक बुनियादी सेवाओं के मूल्यों में सालाना आधार पर कम-से-कम 25 प्रतिशत की वृद्धि हुई है. जिससे लागत वृद्धि के मामले में वस्तुओं को सेवाओं से पीछे छोड दिया है. अध्ययन...

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आप भी शुरू करें अपना रेडियो स्टेशन- आर के नीरद

मित्रों, पिछले अंक में हमने बात कि कैसे आप भी अपना अखबार निकाल सकते हैं और उसके जरिये गांव-पंचायत में बदलाव ला सकते हैं. इस अंक में हम बात कर रहे हैं सामुदायिक रेडियो की. आप जानते हैं कि जब गांवों में अखबार नहीं पहुंचा था, तब रेडियो ही लोगों के मनोरंजन, ज्ञान और सूचना का बड़ा माध्यम था. आज भी वहां रेडियो के कार्यक्रम और समाचार सुने जाते हैं,...

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खुले में शौच: जरुरी है कि आदत भी बदले

‘पहले शौचालय तब देवालय'- परस्पर प्रतिस्पर्धी खेमों के दो राजनेता, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और पूर्व ग्रामीण विकास मंत्री जयराम रमेश कम से कम एक बात पर सहमत हैं। और इसी सोच के अनुकूल दोनों ने अपने तईं युद्धस्तर पर शौचालय के निर्माण के लिए निवेश की योजना बनायी। लेकिन, प्रोफेसर डीन स्पीयर्स के नेतृत्व में नामचीन अर्थशास्त्रियों के एक समूह द्वारा प्रस्तुत अध्ययन का निष्कर्ष है कि नये शौचालयों का...

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स्वास्थ्य केंद्रों में 85 प्रतिशत तक दवा की कमी

रांची : झारखंड की प्रधान महालेखाकार (पीएजी) मृदुला सप्रु ने बताया कि राज्य सरकार इंदिरा आवास योजना में केंद्र से 256.42 करोड़ रुपये नहीं ले सकी. राज्य के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में 26 से 85 फीसदी तक दवा की कमी है. एएनएम और नर्से गांवों में ऐसी दवाएं बांट रही हैं, जिन्हें बांटने का उन्हें कानूनी अधिकार नहीं है. इस दवाओं से मरीजों की जिंदगी पर खतरा हो सकता है....

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यूपी में समाजवादी राजनीति का पतन - एमजे अकबर

जब आप आग से खेलते हैं तो निश्चित ही एक समय ऐसा आता है, जब आग आपके साथ खेलने लग जाती है। मुलायम सिंह यादव ने अपने सार्वजनिक जीवन की शुरुआत डॉ. राम मनोहर लोहिया के शिष्य के तौर पर की थी, जिन्होंने जाति को भारतीय समाज के महत्वपूर्ण वर्गों के आर्थिक सशक्तीकरण के लिए जोड़ने वाली आंतरिक व्यवस्था के तौर पर स्वीकार किया था। यदि हम इसे आर्थिक और...

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