मुजफ्फरपुर, कासं : इंदिरा आवास की स्थायी प्रतीक्षा सूची में शामिल वास स्थल विहीन बीपीएल परिवारों को अब सरकार क्रय कर आवास निर्माण को जमीन उपलब्ध कराएगी। राज्य ग्रामीण विकास विभाग के प्रधान सचिव ने इस संबंध में प्रमंडलीय आयुक्त, डीएम सहित संबंधित सभी अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए हैं। प्रधान सचिव ने पत्र में उल्लेख किया है कि इसका लाभ वैसे वासस्थल विहीन बीपीएल परिवारों जिन्हें सरकारी भूमि मसलन...
More »SEARCH RESULT
पंचायतों की होगी अपनी वेबसाइट
रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य के सभी स्थानीय निकायों की वेबसाइट बनाने का फैसला किया है, जिसके माध्यम से लोगों तक सही जानकारी पहुंचाई जाएगी। आधिकारिक सूत्रों ने शनिवार को यहा बताया कि छत्तीसगढ़ की पंचायती राज संस्थाओं की जानकारी एक ही जगह उपलब्ध कराने और पंचायतों की उपलब्धिया जनता के सामने लाने का प्रयास किया जा रहा है। इसके लिए छत्तीसगढ़ की सभी 18 जिला पंचायतों, 146 जनपद पंचायतों...
More »बारिश ने किया खुश, 15 प्रतिशत हुई धान की रोपाई
पटना। बिहार में इस वर्ष मानसून की अच्छी बारिश से किसानों के चेहरे पर रौनक लौट आई है। उन्हें आशा है कि इस वर्ष बारिश दगा नहीं देगी। अच्छी बारिश के कारण ही राज्य में अब तक करीब 15 फीसदी धान की रोपाई हो चुकी है। मौसम विभाग के अनुसार राज्य में इस वर्ष भरपूर बारिश होने की सम्भावना है। विभाग के एक अधिकारी के अनुसार 11 जुलाई तक राज्य में सामान्य से...
More »बीपीएल परिवारों को घर देगी राजस्थान सरकार
जयपुर, जागरण संवाद केन्द्र। राजस्थान सरकार अगले तीन सालों में प्रदेश में दस लाख ग्रामीण बीपीएल परिवारों को घर बनाकर देगी। इसमें से इस साल 4 लाख 36 हजार घर आवंटित किए जाएंगे, शेष आवंटन अगले दो साल में होगा। 25 से 27 जुलाई तक राज्य की समस्त पंचायत समितियों पर कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। इन कार्यक्रमों में जिले के प्रभारी मंत्रियों द्वारा पात्र व्यक्तियों को आवास उपलब्ध करवाने के लिए...
More »छत्तीसगढ़ में एसपीओ और सुप्रीम कोर्ट - कनक तिवारी
जुलाई 2011 को सुप्रीम कोर्ट के माननीय न्यायमूर्ति सेवानिवृत्त होते बी. सुदर्शन रेड्डी और सुरेन्दर सिंह निज्जर की पीठ ने ऐतिहासिक फैसला देते हुए छत्तीसगढ़ शासन के उन आदेशों को निरस्त कर दिया है, जिनके अनुसार बस्तर में नक्सलियों से निपटने के लिए विशेष पुलिस कर्मी (एसपीओ) को भरती कर मजबूर, गरीब और लगभग अशिक्षित आदिवासी युवकों के हाथों में कथित आत्मसुरक्षा के नाम पर बंदूकें थमा दी गई थीं....
More »