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नागरिकता संशोधन विधेयक: मणिपुर के छात्र संगठनों ने राष्ट्रपति के बयान की निंदा की

इम्फाल: मणिपुर के तीन प्रमुख छात्र संगठनों ने राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के उस बयान की निंदा की है जिसमें उन्होंने कहा था कि नागरिकता (संशोधन) विधेयक 2016 से उन पीड़ितों को मदद मिलेगी जो उत्पीड़न के कारण भारत में आने को मजबूर हुए हैं. ऑल इंडिया स्टूडेंट्स यूनियन (एएमएसयू), मणिपुर स्टूडेंट्स फेडरेशन (एमएसएफ) और डेमोक्रेटिक स्टूडेंट्स एलायंस ऑफ मणिपुर (डीईएसएएम) ने बीते एक फरवरी को कहा कि यदि विधेयक पारित हुआ...

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ग्लोबल हंगर इंडेक्स 2018: किसी फैसले पर पहुंचने से पहले इस न्यूज एलर्ट को जरुर पढ़ें

इतिहास अपने को दोहराता है- पहली बार त्रासदी और दूसरी दफे प्रहसन के रुप में. ग्लोबल हंगर इंडेक्स को लेकर मुख्यधारा की मीडिया में ऐसा ही वाकया पेश आया है.   पिछले साल ग्लोबल हंगर इंडेक्स(जीएचआई) पर 119 देशों के बीच भारत 100 वें स्थान पर था. मुख्यधारा की मीडिया ने सुर्खी लगायी कि 2014 के मुकाबले भारत ग्लोबल हंगर इंडेक्स पर 45 स्थान नीचे खिसका है. मीडिया में यह भ्रम इतना फैला कि...

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तेल आयात व भारत-ईरान संबंध-- पुष्पेश पंत

अमेरिका के राष्ट्रपति ट्रंप ने पूर्व राष्ट्रपति ओबामा द्वारा ईरान के संपन्न परमाणु समझौते को न केवल खारिज कर दिया है, बल्कि ईरान के विरुद्ध कड़े आर्थिक प्रतिबंध भी लागू करने की घोषणा की है. जो बात और भी चिंताजनक है, वह यह कि ट्रंप ने अपने सभी संधि मित्रों और अन्य देशों को यह चेतावनी दी है कि यदि उन्होंने ईरान के साथ अपने आर्थिक संबंधों को यथावत...

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वैश्विक शांति सूचकांक में भारत का दर्जा पहले से बेहतर लेकिन अंदरुनी संघर्ष के मोर्चे पर हालात चिन्ताजनक

नये वैश्विक शांति सूचकांक रिपोर्ट में भारत की स्थिति पिछले साल के मुकाबले बेहतर हुई है लेकिन समाजी अमन और सियासी स्थिरता के एतबार से रिपोर्ट से निकलते संकेत भारत के लिए चिन्ताजनक हैं.   रिपोर्ट के मुताबिक सत्ता के शिखर पर ताकत के सिमटते जाने के कारण भारत का अंकमान सियासी अतिवाद तथा अंदरुनी संघर्ष के पैमाने पर चिन्ताजनक ऊंचाई पर है. रिपोर्ट में भारत को 163 देशों की सूची में इस साल...

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2017 में हिंसा से भारतीय अर्थव्यवस्था को 80 लाख करोड़ का नुकसान

नई दिल्ली। भारतीय अर्थव्यवस्था को क्रय शक्ति क्षमता (पीपीपी) के संदर्भ में हिंसा के कारण पिछले साल देश को 1,190 अरब डॉलर यानी करीब 80 लाख करोड़ रुपए से अधिक का नुकसान उठाना पड़ा है। यह नुकसान प्रति व्यक्ति के हिसाब से करीब 595.40 डॉलर यानी 40 हजार रुपए से अधिक है। गैर सरकारी संगठन इंस्टीट्यूट फॉर इकोनॉमिक्स एंड पीस ने 163 देशों एवं क्षेत्रों का अध्ययन करने के बाद यह...

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