-आउटलुक, “सरकारी बैंकों में निजी निवेश के लिए उसका एनपीए कम होना जरूरी है और बैड बैंक इसमें मददगार होगा, इसलिए बैंक निजीकरण और बैड बैंक का गठन, दोनों फैसलों को एक-दूसरे से जोड़कर देखा जाना चाहिए” एस.के. सिंह इन दिनों एक बैंक की बहुत चर्चा है- बैड बैंक। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी 2021 को बजट में इसका जिक्र किया, जिस पर बाद में रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास...
More »SEARCH RESULT
आर्थिक उद्देश्य संविधान के विजन से अलग नहीं हो सकते : तलोजा जेल से आनंद तेलतुंबड़े
-कारवां, सार्वजनिक सेक्टर के उद्यमों का निजीकरण करने की मोदी सरकार की योजना पर जारी बहस से कुछ हद तक पुरानी बहसों की याद आती है. सरकार के समर्थन में निजीकरण की पैरवी करने वाले लोग दलील दे रहे हैं कि निजीकरण हमेशा ही सार्वजनिक सेक्टर के लिए कारगर रहा है. वे नहीं जानते लेकिन इस दलील का तार्किक विस्तार करें तो यह बेतुका लेकिन जायज सवाल भी किया जा सकता है...
More »आवरण कथा/ महिला किसान : खेत-खलिहान की गुमनाम बेटियां
-आउटलुक, “‘किसान’ की आम छवि में नदारद, अर्थशास्त्रियों की गणना से बाहर, जमीन के कागजात में गैर-मौजूद हमारी खेती-किसानी की अदृश्य आधी आबादी पर किसान आंदोलन से पड़ी रोशनी” यह भारत का एक बेहद शर्मनाक रहस्य है। भारत का ही नहीं, बल्कि समूचे विश्व का। जिस 'औपचारिक' अर्थव्यवस्था की हम अक्सर चर्चा करते हैं, जहां लोग परिश्रम करते हैं और उनके परिश्रम के फल को आंकड़ों और ग्राफ में दर्शाया जाता है,...
More »किसान आंदोलन से देश को क्या सबक लेना चाहिए
-न्यूजलॉन्ड्री, क्या भारत के किसानों को आज पता चला है कि भारतीय झूठ पार्टी का सारा खेल नफ़रत की सौदागरी और झूठ का प्रपंच है, जो इनकी मूल संघी विचारधारा से निकलता है? ऐसा नहीं है, पता तो सबको था, पर आज वे बोलने लगे हैं. तो अब तक क्यों नहीं कह पाए थे? इस बात पर सोचना-समझना ज़रूरी है, क्योंकि किसान अपनी लड़ाई जीतेंगे और भाजपा तब भी रहेगी. दरअसल...
More »जो जनता आज उमर को आतंकवादी कह रही है, वो उसी के लिए काम करना चाहता था…
-द वायर, 23 दिसंबर को उमर खालिद की गिरफ़्तारी के 100 दिन पूरे हो गए. अपनी गिरफ़्तारी से 10 दिन पहले उमर ने मुझसे कहा था कि वो कुछ ऐसे युवाओं को एक साथ जोड़ना चाहता है जो सोशल मीडिया पर नफ़रत की राजनीति पर लगाम लगा सकें और जनता के ज़रूरी मुद्दों पर बात कर सकें. जो जनता आज उमर को आतंकवादी कह रही है, उमर उसी जनता के लिए काम करना...
More »