वो गांव गये थे..दावा है कि गांव-गांव यात्रा किये हैं..खेत-खेत, आरी-डरेड़ा सब जगह घूमें। उन्हें ऐसा इसलिए करना पड़ा क्योंकि देश सूखे से बेहाल और सरकार दो साल के जश्न में निहाल है। उनका दावा है कि अभी दिल दिमाग जाग्रत है माने नहीं सूखा..भले ही खेत सूख गये हों..किसान बदहाल हो..आत्महत्या कर रहा हो। जी हां मैं बात कर रहा हूं स्वराज अभियान के योगेंद्र यादव और उनके साथियों की...
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सरनेम बदलने से किसी की जाति नहीं बदलतीः बॉम्बे हाई कोर्ट
मुंबई। बॉम्बे हाई कोर्ट ने एक मेडिकल ग्रेजुएट शांतनु हरि भारद्वाज को राहत देते हुए कहा है कि सरनेम बदल लेने से किसी व्यक्ति की जाति नहीं बदल जाती है। इस व्यक्ति को वैध प्रमाण पत्र पेश करने के बावजूद एसटी वर्ग में नामांकन से इन्कार कर दिया गया था। इन्कार का आधार उसके सरनेम में परिवर्तन को बनाया गया था। याची ने उल्लेख किया कि उसके पास जाति का वैध...
More »‘रोनू’ ने मचायी आंध्र में तबाही, अगली बारी किसकी
नेलोर (आंध्र प्रदेश) / भुवनेश्वर : गहरे दवाब का क्षेत्र बनने से आये तेज चक्रवाती तूफान ‘रोनू' की वजह से आंध्र प्रदेश के नेलोर जिले में काफी जान माल की क्षति हुई है. जगह-जगह पेड़ और बिजली के खंभे टूट कर गिर गये हैं. भारी बारिश और तेज हवाओं की वजह से बहुत नुकसान हुआ है. तेज हवाओं ने जहां पेड़ को जड़ से उखाड़ दिया है वहीं शहर...
More »खाद्यान्न-उत्पादन : सूखे की मार के बीच क्या कहता है कृषि मंत्रालय का नया आकलन
कृषि मंत्रालय के एक हालिया पुर्वानुमान में कहा गया है कि मौजूदा फसली-वर्ष में खाद्यान्न उत्पादन कमोबेश पिछले साल जितना बना रहेगा.(देखें नीचे की लिंक) गौरतलब है कि बीते मार्च महीने में हुई बेमौसम बारिश और ओलावृष्टि से दस राज्यों में हुए फसलों के नुकसान और जारी सूखे बीच आशंका जतायी जाती रही है कि चालू फसली-वर्ष में खाद्यान्न उत्पादन में कमी आयेगी. 2014-15 में कुल खाद्यान्न उत्पादन 252.02 मिलियन टन था...
More »आयकर देने में इतना परहेज!-- आकार पटेल
कुछ साल पहले एक बुजुर्ग मुझे गाना सिखाने के लिए हर सुबह मेरे घर आया करते थे. वे भले व्यक्ति थे और यह काम दशकों से करते आ रहे थे. चूंकि हमारी मुलाकात नियमित रूप से हुआ करती थी, हम गाने की शिक्षा से पहले और बाद में उनसे कई सारे विषयों पर बात भी करते थे. उनमें जितनी गहरी लगन अपने संगीत को लेकर थी, उतनी ही गंभीरता से...
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