दिल्ली सरकार ने बीपीएल परिवारों के कैश फॉर फूड योजना का प्रस्ताव किया है। इसके विरोध में देश के कई नागरिक और मजदूर संगठन अगले सप्ताह देश की राजधानी में एकत्र हो रहे हैं।इन संगठनों एकजुट होकर गरीबी रेखा से नीचे रहने वाले परिवारों की पहचान के लिए ज्यादा बेहतर मानक तैयार करने के लिए सरकार पर दबाव बनाएंगे। देश की राजधानी में अगले सप्ताह एकत्र हो रहे संगठनों को...
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बंगाल फिर अधिग्रहण की राह
कोलकाता के बाहरी इलाके में वैदिक विलेज स्पा एवं रेस्तरां के लिए निजी क्षेत्र की ओर से जमीन अधिग्रहण में कथित रूप से घोटाला होने और इस मामले में राज्य सरकार की हुई किरकिरी के बाद पश्चिम बंगाल में एक बार फिर निजी परियोजनाओं के लिए जमीन अधिग्रहण की नई पहल की गई है। यह पहल जमीन अधिग्रहण के लिए अपनाई जाने वाली प्रक्रिया पर हुई उस राजनैतिक आम सहमति...
More »एक चिठ्ठी बस्तर की व्यथा की......
छत्तीसगढ़ के तृणमूल स्तर के कई कार्यकर्ताओ ने देश के जनपक्षी धड़ों के लिए एक टिप्पणी जारी की है। इस टिप्पणी में छत्तीसगढ़ में सुरक्षा बलों और आदिवासियों के बीच जारी संघर्ष को विराम देने की अपील की गई है।छत्तीसगढ़ मुक्ति मोर्चा से संबद्ध सुधा भारद्वाज का तर्क है कि विद्रोह को दबाने के नाम पर छत्तीसगढ़ में नरसंहार की आशंका बलवती हो गई है और इसे रोकने के लिए...
More »भूख का बढ़ता भूगोल
भारत में जब से आर्थिक उदारीकरण आया है, एक अद्भुत विरोधाभास उदारवादियों में देखने को मिला है। जहां भारत में कई जगह अभ्युदय हो रहा है। वहीं हालात 20 साल से ज्यादा खराब होते गए हैं। खासकर लोगों की खुराक कम हुई है। सिर्फ जिंदा रहने के लिए लोग इस देश में भोजन ग्रहण कर रहे हैं और इसका मूल कारण जनसंख्या का बढ़ना नहीं है, जैसा कि अनुमान लगाया...
More »भुखमरी-एक आकलन
खास बात - साल 1990 में भारत का जीएचआई अंक 32.6 था, साल 1995 में यह अंक 27.1, साल 2000 में 24.8, साल 2005 में 24.0 तथा साल 2013 में 21.3 था। साल 2013 में भारत का जीएचआई अंक(21.3) चीन (5.5), श्रीलंका (15.6), नेपाल (17.3), पाकिस्तान (19.3) और बांग्लादेश (19.4) से बदतर है।@ -साल १९८३ में देश के ग्रामीण अंचलों में प्रति व्यक्ति प्रति दिन औसत कैलोरी उपभोग २३०९ किलो कैलोरी का था जो साल १९९८ में घटकर २०१०...
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