जय तापड़िया, बाग। आदिवासी बहुल बाग ब्लॉक में सिकल सेल एनीमिया नामक घातक लाइलाज बीमारी के 200 से अधिक मरीज हैं। अनुवांशिक बीमारी होने से यह भावी पीढ़ी में लगातार फैलती जा रही है। हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जापान दौरे पर गए थे। जहां प्रधानमंत्री की पहल पर जापान ने भारत के साथ मिलकर इस बीमारी पर शोध करने पर सहमति जताई है। इससे पीड़ित मरीजों के लिए...
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आप भी शुरू करें अपना रेडियो स्टेशन- आर के नीरद
मित्रों, पिछले अंक में हमने बात कि कैसे आप भी अपना अखबार निकाल सकते हैं और उसके जरिये गांव-पंचायत में बदलाव ला सकते हैं. इस अंक में हम बात कर रहे हैं सामुदायिक रेडियो की. आप जानते हैं कि जब गांवों में अखबार नहीं पहुंचा था, तब रेडियो ही लोगों के मनोरंजन, ज्ञान और सूचना का बड़ा माध्यम था. आज भी वहां रेडियो के कार्यक्रम और समाचार सुने जाते हैं,...
More »WHO ने इबोला को घोषित किया अंतरराष्ट्रीय आपातकाल
जेनेवा। विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने शुक्रवार को पश्चिम अफ्रीकी देशों में जानलेवा इबोला महामारी को वैश्विक स्वास्थ्य संकट घोषित कर दिया है। साथ ही पीड़ित देशों के लिए वैश्विक मदद की अपील की है। जेनेवा में संगठन की दो दिनों तक चली आपात बैठक के बाद जारी एक बयान में कहा गया कि इबोला के प्रकोप को फैलने से रोकने के लिए वैश्विक यातायात प्रतिबंध को अमल में लाया जा...
More »खेती की सुध कौन लेगा- धर्मेन्द्रपाल सिंह
जनसत्ता 1 अगस्त, 2014 : मौसम विभाग दावा कर रहा है कि वर्षा सामान्य से केवल दस प्रतिशत कम रहेगी। लेकिन बुआई का कीमती समय निकल जाने की भरपाई कैसे होगी, इसका जवाब उसके पास नहीं है। कृषि मंत्रालय ने एक जून से सत्रह जुलाई के बीच देश भर में धान, दलहन, सोयाबीन, कपास, मूंगफली आदि की बुआई का जो रकबा जारी किया है उसे देख कर लगता है कि इस...
More »गांवों के विकास में उद्योगों की साझेदारी -डॉ. अनिल प्रकाश जोशी
दूसरे विश्वयुद्ध के बाद जब यूरोप की अर्थव्यवस्था लड़खड़ा गई, उस समय उद्योगों को मूलमंत्र मानकर विकास की रूपरेखा तैयार की गई। इसी समय दो बड़े परिवर्तन भी हुए। पहला, विकास की परिभाषा इस तरह गढ़ दी गई, जिसका सीधा-सीधा मतलब था कि उद्योग और उससे जुड़े तमाम आयामों को ही विकास मान लिया जाए। दूसरा, इसके बाद ही भोगवादी सभ्यता का चलन बढ़ा। अपने देश ने भी स्वतंत्रता के बाद...
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