दिल्ली सरकार के फैसले का होगा दूरगामी असर दिल्ली देश का पहला राज्य है, जिसने भारत सरकार के मल्टी ब्रांड रिटेल में एफडीआइ की स्वीकृति को पलट दिया है. आम आदमी पार्टी का विदेशी रिटेल के खिलाफ यह फैसला उसी स्वराज की राजनीतिक लाइन और चुनावी घोषणा पत्र के अनुरूप है. कई देशों जैसे कि बेल्जियम, डेनमार्क में यह प्रावधान है कि इलाके में मॉल खोलने के लिए मोहल्ला समितियों की स्वीकृति...
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महंगाई कम करने की नीयत चाहिए- देविंदर शर्मा
खाद्य पदार्थो की लगातार बढ़ती कीमतों ने आम आदमी का जीना मुहाल कर रखा है. इस मूल्य वृद्धि को अकसर मांग और आपूर्ति के बीच असंतुलन से जोड़ कर देखा जाता है, लेकिन आंकड़े बताते हैं कि देश में खाद्यान्नों के उत्पादन में लगातार वृद्धि हुई है. फिर क्या वजह है खाद्य पदार्थो के मूल्य में होनेवाली वृद्धि की? क्या इसके पीछे जमाखोरों और सट्टेबाजों का हाथ है? आखिर किस...
More »फायदा या नुकसान: घरेलू बचत का सिकुड़ता दायरा चिंताजनक
आघात - केंद्र ने अप्रैल 2013 से डाकघर बचत तथा पब्लिक प्रॉविडेंट फंड जैसी बचत योजनाओं में देय ब्याज में 0.10 फीसदी कर दी। हाल ही कर्मचारी भविष्य निधि फंड में 0.25 की वृद्धि की गई है जो निम्न और मध्यवर्गीय नौकरीपेशा वर्ग के लिए मामूली राहत वाली बात कही जा सकती है। भारतीय समाज के ये दो वर्ग ऐसे होते हैं...
More »चुनावी माहौल में हाशिये पर अर्थनीति- अश्विनी महाजन
राजधानी दिल्ली में आम आदमी पार्टी से भारी शिकस्त के बाद घबराई कांग्रेस ने अपने मुख्यमंत्रियों का एक सम्मेलन बुलाकर महंगाई रोकने की जो बात कही है, वह हास्यास्पद ही है। तथ्य यह है कि पिछले तीन-चार वर्षों से महंगाई लगातार बढ़ती जा रही है। वर्ष 2010 की तुलना में कीमतें अब तक 40 प्रतिशत बढ़ चुकी हैं। खाने-पीने की चीजों के दाम 48 प्रतिशत बढ़ चुके हैं। एक गरीब परिवार 2010...
More »हमारी विकास नीति में उनकी जगह- सुनील
कुछ साल पहले की बात है। दिल्ली जाने पर मैं जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में अर्थशास्त्र के एक प्राध्यापक से मिलने गया था। चर्चा के दौरान मैंने कहा कि पांचवें-छठे वेतन आयोग ने प्रथम और द्वितीय श्रेणी के अफसरों-प्रोफेसरों के वेतन बहुत बढ़ाए हैं, जिससे समाज में गैरबराबरी और उपभोक्ता संस्कृति को बढ़ावा मिला है। उन्होंने तुरंत उसका बचाव करते हुए कहा कि वेतन बढ़ाना जरूरी है, नहीं तो विश्वविद्यालय में...
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