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आदिवासी क्यों कर रहे हैं समान नागरिक संहिता का विरोध ?

"यूनिफॉर्म सिविल कोड के नाम पर लोगों को भड़काने का काम हो रहा है। आप मुझे बताइये, एक घर में, परिवार के एक सदस्य के लिए एक कानून हो और दूसरे सदस्य के लिए दूसरा कानून हो, तो क्या वो घर चल पाएगा? कभी भी चल पाएगा? समर्थकों की ओर से जवाब आता है नहीं। फिर ऐसी दोहरी व्यवस्था से देश कैसे चल पाएगा। हमें याद रखना है कि भारत के...

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गुजरात में ‘अतिरिक्त’ राशन कार्ड रद्द करने से सबसे अधिक आदिवासी प्रभावित होंगे: रिपोर्ट

द वायर , 5 अप्रैल गुजरात सरकार ने राज्य में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए) के ‘अतिरिक्त’ राशन कार्डों को रद्द करने का आदेश पारित किया है. द न्यू इंडियन एक्सप्रेस की एक रिपोर्ट के अनुसार, यह कदम सामाजिक-आर्थिक सर्वेक्षण के बिना उठाया गया था. ‘अतिरिक्त’ राशन कार्डों को रद्द करने का आदेश 80,000 से अधिक आदिवासी परिवारों के पांच लाख से अधिक लोगों को उनके भोजन के मूल अधिकार से वंचित...

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आदिवासियों के दावों को खारिज करने का उपकरण बना मध्यप्रदेश का वन मित्र पोर्टल

डाउन टू अर्थ, 26 फरवरी 13 फरवरी, 2019 को, वन अधिकार अधिनियम, 2006 (एफआरए) की संवैधानिकता से संबंधित एक मामले में, भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने राज्यों को उन एफआरए दावेदारों को बेदखल करने का निर्देश दिया, जिनके व्यक्तिगत वन अधिकार के दावे खारिज कर दिए गए थे। शीर्ष अदालत ने देश के 20 राज्यों में 11,91,273 आदिवासियों को बेदखल करने का आदेश दिया था। आदिवासियों और अन्य पारंपरिक वन निवासियों (ओटीएफडी)...

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ओडिशा माली पर्वत खनन: हिंडाल्को कंपनी का विरोध करने वाले आदिवासी एक्टिविस्टों को मिल रहीं धमकियां

-न्यूजक्लिक, ओडिशा के आदिवासी और दलित किसान पिछले दो दशकों से उनके पवित्र स्थल माली पर्वत पर बॉक्साइट खनन का विरोध कर रहे हैं। 270 एकड़ में फैला माली पर्वत दक्षिण ओडिशा के कोरापुट जिले में पड़ता है। साल 2007 में हिंडाल्को इंडस्ट्रीज़ के खनन लाइसेंस की अवधि ख़त्म हो गई थी। इसके बाद आदिवासियों के कड़े विरोध के चलते आगे खनन रोक दिया गया था। अप्रैल में कंपनी के खनन...

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आखिर मिजोरम और असम क्यों भिड़ गए, इन पांच सवालों में छिपा है इसका राज

-द प्रिंट, मिज़ोरम और असम जैसे दो छोटे-छोटे राज्य जमीन के लिए मशीनगन उठाकर क्यों आपस में भिड़ गए हैं, यह समझने के लिए हमें पांच सवालों पर ध्यान देना होगा. उनके जवाबों में ही इस मसले का राज छिपा हुआ है. पहला सवाल यह है कि उत्तर-पूर्व के जिन छह राज्यों से असम की सीमाएं मिलती हैं उनमें से चार राज्यों के साथ ही असम का सीमा विवाद क्यों है, बाकी...

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