तत्कालीन यूपीए सरकार जब साल 2013 में राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा विधेयक लेकर आई, तो यह उम्मीद बंधी थी कि इस विधेयक के अमल में आ -जाने के बाद देश की 63.5 फीसद आबादी को कानूनी तौर पर तय सस्ती दर से अनाज का हक हासिल हो जाएगा। अफसोस, इस कानून को बने तीन साल हो गए, मगर यह आज भी पूरे देश में अमल में नहीं आ पाया है। नौ...
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बाढ़ से ज्यादा लोग मरते हैं या ठंढ़ से ?
अगर आप मानते हैं कि बाढ़, हिमपात, भूस्खलन, महांमारी या भूस्खलन से ज्यादा लोग मरते हैं और ठंढ़ से तो कम तो तनिक ठहरिए ! नेशनल क्राइम रिकार्ड ब्यूरो(एनसीआरबी) के आंकड़े बताते हैं कि हर साल बाढ़ या महामारी से जितने लोग नहीं मरते उससे कहीं ज्यादा लोग ठंढ़ के कारण जान गंवाते हैं.(देखें नीचे की लिंक) एनसीआरबी की नई रिपोर्ट के मुताबिक 2014 में कुल 913 लोगों ने ठंढ़ के कारण...
More »एक-समान शिक्षा प्रणाली से होगा बेहतर समाज का निर्माण
बेहतर देश के निर्माण के लिए बेहतर समाज का होना पहली शर्त है. किसी भी देश का सतत विकास तभी मुमकिन है, जब वहां के विभिन्न समाज और समुदायों के बीच सौहार्द, शांति व भाईचारा हो. बीता साल 2015 इस लिहाज से कुछ अच्छी यादों के साथ-साथ कई कड़वी यादें भी छोड़ गया है. हाल के दशकों में तेज आर्थिक विकास के बावजूद हमारे समाज में व्याप्त कुछ...
More »डूब जाते हैं बनैनिया जैसे समृद्ध गांव और राजनीति उफ तक नहीं करती
महज पांच साल पहले कोसी नदी के किनारे एक खूबसूरत और समृद्ध गांव था बनैनिया. मिथिलांचल और कोसी के इलाकों को जोड़ने के लिए जब महासेतु बना, तो बनैनिया डूब गया. थोड़ी-सी प्रशासनिक सजगता इस गांव को बचा सकती थी. गुणानंद ठाकुर जैसे सांसद और मायानंद मिश्र जैसे बड़े साहित्यकार का यह गांव अब कोसी की धारा में समा गया है. गांव के लोग 22 अलग-अलग गांवों में रहते हैं....
More »बच्चों से दुष्कर्म करने वालोंं को नपुसंक बना दिया जाना सही: मद्रास हाईकोर्ट
बच्चों के साथ दुष्कर्म की बढ़ती घटनाओं से चिंतित मद्रास हाईकोर्ट कहा है कि क्रूर अपराधियों के लिए नपुसंक किया जाना ही एक सजा हो सकती है। हाईकोर्ट ने एक मामले की सुनवाई के दौरान केंद्र से बच्चों के साथ बदसुलूकी और दुष्कर्म के दोषियों को नपुंसक करने की सजा पर विचार करने को कहा है। अदालत ने बेहद तल्ख शब्दों में कहा कि भारत के विभिन्न हिस्सों में बच्चों से...
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