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आधिकारिक डेटा 2020 राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन के दौरान शहरी क्षेत्रों में आजीविका संकट के गहराने की पुष्टि करता है!

हाल ही में जारी किया गया त्रैमासिक आवधिक श्रम बल सर्वेक्षण (पीएलएफएस) डेटा मोटे तौर पर देशव्यापी लॉकडाउन अवधि के दौरान रोजगार और नौकरियों में गिरावट की पुष्टि करता है, हालांकि विभिन्न सर्वेक्षण-आधारित अध्ययन और शोध पत्र इस बात की ओर इशारा करते हैं कि पिछले साल लॉकडाउन के बाद के महीनों में कुछ हद तक सुधार हुआ है. पीएलएफएस पर त्रैमासिक बुलेटिन केवल वर्तमान साप्ताहिक स्थिति (सीडब्ल्यूएस) संदर्भ में...

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कृषि अध्यादेश आने के बाद नई मंडियों के निर्माण पर योगी सरकार ने क्यों लगाई रोक?

-न्यूजलॉन्ड्री, केंद्र सरकार द्वारा पारित तीन कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली के सिंघु, टिकरी और गाजीपुर बॉर्डर पर भारी संख्या में किसान बीते नौ महीनों से प्रदर्शन कर रहे हैं. इस दौरान किसान नेताओं और सरकार के बीच 11 दौर की बातचीत हुई, लेकिन इसका में कोई हल नहीं निकला. दरअसल सरकार इन कानूनों को किसान हित में बता रही है, वहीं किसान नेता इसे काला कानून बताकर सरकार से वापस...

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पाँच साल बाद भी लड़खड़ा रही ई-मंडियां, कैसे करेंगी किसान की मदद?

-इंडिया स्पेंड, मुज़फ़्फ़रनगर: केंद्र सरकार ने वर्ष 2016 में सारी कृषि मंडियों को इंटरनेट से जोड़कर एक संयुक्त राष्ट्रीय मंडी बनाने के उद्देश्य से ई-मंडी योजना की शुरुआत की। ई-मंडी यानी इंटरनेट पर चलने वाली इस मंडी के ज़रिए किसान देश के किसी भी राज्य में फसल का दाम जानकर कहीं के भी व्यापारी को अपनी फसल बेच सकता है। साल 2021-22 का वित्तीय बजट पेश करते वक़्त वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन...

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नरेन्द्र मोदी का विरोध लंदन में, "मोदी इस्तीफा दो" का बैनर लटकाकर मांगा मोदी का इस्तीफा

-कारवां, 15 अगस्त की सुबह ब्रिटेन के प्रवासी भारतीय के एक दल ने लंदन के वेस्टमिंस्टर ब्रिज में भारतीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के इस्तीफा की मांग वाला बैनर लटका कर प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने भारतीय उच्चायोग के बाहर मोमबत्तियां जलाकर मोदी शासन के पीड़ितों को याद किया. कार्यक्रम के आयोजकों में से एक दक्षिण एशिया सॉलिडेरिटी ग्रुप के मुक्ति शाह ने इस कार्रवाई के बारे में बताया कि “भारत अपना 75वां...

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क्या श्रमिकों का फैक्ट्रियों से खेतों में बड़ी संख्या में पलायन ‘विकास’ की गाड़ी का उल्टी दिशा में जाना है

-द वायर, 2018-19 में कुल रोजगार में कृषि की हिस्सेदारी 42.5 फीसदी से 2019-20 में नाटकीय ढंग से बढ़कर 45.6 फीसदी हो गई. कुल रोजगार में कृषि की भागीदारी में यह इजाफा भारतीय अर्थव्यवस्था के एक चिंताजनक पहलू को दिखाता है. यह बढ़ोतरी उद्योग या सेवा क्षेत्र से कृषि में श्रमिकों की एक असामान्य बड़ी गतिशीलता की संकेतक हो सकती है. वास्तविक रोजगार की स्थिति के लिए भिन्न-भिन्न मापकों- काफी सख्त से ज्यादा उदार...

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