जमशेदपुर. 193 किलोमीटर क्षेत्र में फैले दलमा प्राकृतिक खूबसूरती के लिए झारखंड समेत पूरे देश भर में मशहूर है। यहां जंगली जीव-जंतु के साथ अनेक दुर्लभ किस्म के औषधीय पौधे मौजूद हैं। यह मनुष्य और पशु-पक्षियों के भोजन व स्वास्थ्य के लिए काफी लाभकारी है। इन तमाम बातों को ध्यान में रखते हुए दलमा वन्य प्राणी आश्रयणी के द्वारा पौधों को संरक्षित करने के साथ पैदावार बढ़ाने की दिशा में लगातार...
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क्या कैश-ट्रांसफर के लिए पीडीएस को खत्म किया जा सकता है?
अनाज इतना है कि सरकारी गोदामों में उन्हें संभाल पाना मुश्किल हो रहा है और सरकार के पास धन की ऐसी कमी है कि वह खर्च कम करके संयम बरतने की सलाह दे रही है। फिर भी, विश्वबैंक की सलाह को अपने सर माथे चढ़ाकर सरकार सार्वजनिक वितरण प्रणाली(पीडीएस) के जरिए अनाज बांटना बंद करना और लोगों को इसकी जगह कैश-ट्रांसफर के जरिए नकदी देना चाहती है। देश के विभिन्न भागों में होने वाले सर्वेक्षण, मौका...
More »भोजन बर्बाद करने की इज्जत- अरुण कुमार त्रिपाठी
जनसत्ता 2 जुलाई, 2012: भोजन की बरबादी को सामाजिक प्रतिष्ठा माना गया है। उत्तर भारत की एक कहानी इस पाखंड को बखूबी बयान करती है। पिता ने अपने पुत्र को समझाया कि जब भी किसी और के घर आयसु (न्योता) खाने जाओ तो थोड़ा-बहुत भोजन छोड़ दिया करो। बेटे ने पूछा, पिताजी ऐसा क्यों? पिता ने समझाया कि बेटा, वह इज्जत है। आयसु खाते समय बेटे को पिता की हिदायत भूल...
More »मॉनसून में देरी लेकिन भोजन की कमी नहीं: पवार
केंद्र सरकार ने माना है कि इस साल मानसून में देरी हुई है लेकिन उसका कहना है कि चिंता की कोई बात नहीं है क्योंकि देश के पास पर्याप्त मात्रा में खाद्य भंडार है. पत्रकारों से बातचीत करते हुए केंद्रीय कृषि मंत्री शरद पवार ने कहा कि देश में दो जुलाई तक 31 प्रतिशत कम बारिश हुई है. लेकिन उन्होंने कहा कि अगले सप्ताह अच्छी बारिश होने की संभावना है. इससे जुड़ी...
More »आंगनबाड़ी में लूट के वाजिब कारण! ।। राजूनंदन ।।
चास : 30 रुपये के जलावन से महीना भर खाना बनाना क्या संभव है ? फिर, 64 रुपया लीटर कौन सा रिफायन मिलेगा? बाजार में मामूली रिफाइन भी 95 रुपया लीटर है. 34 रुपया किलो कहां सत्तू मिलेगा ? लेकिन, जब आंगनबाड़ी केंद्र जिले में इसी दर पर सामानों की खरीद से चल रहा है तो फिर समझा जा सकता है कि इन केंद्रों में कैसे-क्या होता होगा. ताज्जुब तो यह कि...
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