दुमका : हरसंत का अतीत होता है और हर अपराधी का भविष्य. केंद्रीय कारा में लिखी इसी पंक्ति ने एक अपराधी का भविष्य सुधार दिया है. दुमका सहित आसपास के क्षेत्र में नक्सलियों का जनक माना जाने वाला हार्डकोर उग्रवादी बद्री राय जेल से छूटने के बाद मुख्यधारा में लौट आये हैं. इन दिनों वह अपने गांव सरुवापानी में बंजर जमीन को खेतीलायक बनाने और फसल उपजाकर अपने जीवन को वह...
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मजदूर के संघर्ष का प्रतीक- सिद्धेश्वर शुक्ला
सन् 1991 के बाद देश में आर्थिक सुधार के नाम पर बेतहाशा उदारीकरण की जो नीति अपनायी गयी, उसे सत्ता पक्ष और प्रमुख विपक्ष ने बड़ी मजबूती से केंद्र व राज्यों में लागू किया. उदारीकरण के दुष्परिणाम आज हमारे सामने हैं. उदारीकरण की नीतियों की वजह से न सिर्फ मजदूरों को नुकसान हुआ है, बल्कि परंपरागत उद्योग और कृषि बुरी तरह से चौपट होकर रह गये हैं. आज देश एक...
More »खाद्यान्न निर्यात में तेजी लाने के लिए केंद्र सरकार गंभीर- आर एस राणा
पहल - मौजूदा स्थिति पर समीक्षा के लिए दो मई को सचिव स्तरीय बैठक समीक्षा के बिंदु गेहूं व गैर-बासमती चावल के घरेलू स्टॉक पर विचार होगा खाद्यान्न के मौजूदा निर्यात की स्थिति आकी जाएगी अगले महीनों में वैश्विक सप्लाई की भी होगी समीक्षा अंतरराष्ट्रीय बाजार में संभावित मूल्य स्तर पर तय होगी नीति आगामी महीनों में विश्व बाजार के संभावित परिदृश्य पर ही तय होगी निर्यात नीति देश में गेहूं व चावल की अच्छी पैदावार और...
More »क्या कागजी ही रहेगा बालश्रम कानून- किशोर
जनसत्ता 30 अप्रैल, 2013: मंत्रिमंडलीय समितिद्वारा बालश्रम (प्रतिबंधन एवं विनियमन) अधिनियम, 1986 में संशोधन को मंजूरी दिए छह महीने से ज्यादा हो गए हैं, पर अभी तक यह संसद के दोनों सदनों में पास नहीं हो पाया है। इस संशोधन को राज्यसभा में पेश भी किया जा चुका है, पर मामला उससे आगे नहीं बड़ा है। इस अधिनियम में संशोधन के बाद चौदह वर्ष से कम आयु के बच्चों से...
More »किसानों को आत्मनिर्भर बनाता एक कोऑपरेटिव
कृषि के क्षेत्र में किसानों को उत्रत तकनीक मुहैया कराकर उनके जीवन स्तर को बेहतर बनाना और गांवों में बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराकर विकास करना, यह लक्ष्य है मूलकात्रूर कोऑपरेटिव बैंक और मार्केटिंग सोसाइटी लिमिटेड का. रजनीश आनंद की विस्तृत रिपोर्ट पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें:- ...
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