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विदेशी प्रजातियों के पौधों के लिए बौने हैं पहाड़, बढ़ रही तादाद और तेजी से हो रहा फैलाव

द थर्ड पोल , 10 मार्च परवेज़ डार पेशे से वनस्पति विज्ञानी हैं। उन्होंने साल 2012 और 2017 में कश्मीर में सड़कों के आसपास घूमकर अच्छा-खासा समय बिताया। इसमें पहाड़ी दर्रा सिंथन टॉप भी शामिल है। इस दौरान उन्होंने घुसपैठिए (विदेशी पौधों) की प्रजातियों का सर्वेक्षण किया। ऐसे पौधे जिनका कश्मीर से कोई वास्ता नहीं रहा है। लेकिन अब इस इलाके में तेजी से फैल रहे हैं। बुनियादी ढांचे के विस्तार...

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पोषक अनाजों की खेती:- वर्तमान और भविष्य

पोषक अनाजों की अहमियत को समझते हुए भारत सरकार ने खाद्य और कृषि संगठन के सामने एक प्रस्ताव रखा था। नतीजन पूरी दुनिया, वर्ष 2023 को, अंतर्राष्ट्रीय पोषक अनाज वर्ष के रूप में मना रही है।भारत,दुनिया में पोषक अनाजों का सबसे बड़ा उत्पादनकर्ता है। साल 2020 में विश्व के कुल उत्पादन में भारत की हिस्सेदारी करीब 41 फीसदी के आस–पास थी। पढ़िए इस लेख में पोषक अनाजों पर विस्तार से; प्राचीन...

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वर्ष 2022 में सार्वजनिक क्षेत्र की नौकरियों में 8.8 फीसदी की कमी आई: रिपोर्ट

द वायर, 2 मार्च वर्ष 2022 में, देश भर में कुल 5,65,000 नए ग्राहक नई पेंशन योजना (एनपीएस) में शामिल हुए. 2021 में यह आंकड़ा 6,19,835 था. बिजनेस स्टैंडर्ड के अनुसार, 2021 की तुलना में 2022 के आंकड़ों में 8.8 फीसदी की गिरावट आई है. यह देखते हुए कि एनपीएस अब सभी केंद्र सरकार की नौकरियों के लिए अनिवार्य है और अधिकांश राज्यों में सरकारी नौकरियों के लिए भी अनिवार्य है, विश्लेषकों का...

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बेमौसमी बढ़ती गर्मी से फसलों को बचा सकता है बायोचार, वैज्ञानिकों ने बताया तरीका

डाउन टू अर्थ, 24 फरवरी  वैज्ञानिकों का मानना है कि ‘बायोचार’ सदियों से लोगों द्वारा उपयोग की जाने वाली एक पारंपरिक कृषि पद्धति रही है। कृषि और पेड़ों का कचरा जैसे कार्बनिक पदार्थों को जलाने से बना चारकोल जैसे पदार्थ को बायोचार कहते हैं। वैज्ञानिकों ने जलवायु-स्मार्ट कृषि (सीएसए) अभ्यास के रूप में इसकी क्षमता का विश्लेषण करने के लिए बायोचार पर दुनिया भर के लगभग 600 अध्ययनों में व्याप्त आंकड़ों को...

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भारत में हर दिन गर्भावस्था या प्रसव के दौरान हो रही करीब 66 महिलाओं की मौत

डाउन टू अर्थ, 23 फरवरी भारत में हर दिन गर्भावस्था या प्रसव के दौरान करीब 66 महिलाओं की मौत हो जाती है। मतलब की हर साल देश में गर्भावस्था या प्रसव के दौरान 24,000 माओं की मौत हो जाती है। देखा जाए तो दुनिया में भारत, नाइजीरिया के बाद दुनिया का दूसरा ऐसा देश है जहां इतनी बड़ी संख्या में गर्भावस्था या प्रसव के दौरान महिलाओं की मौत हो रही है। यह...

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