SEARCH RESULT

Total Matching Records found : 915

हमारी खेती अमेरिका से अच्छी- वंदना शिवा

वंदना शिवा राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय मंचों पर खेती के सवाल पर लगातार लड़नेवाली लड़ाका हैं. वे इंटरनेशनल फोरम आन ग्लोबलाईजेशन की सदस्य हैं. उनसे एक महत्वपूर्ण बातचीत.विस्फोट डाट कॉम से साभार) दूसरी हरित क्रांति की बात हो रही है. आपकी असहमति और सहमति किसरूप में रेखांकित होती है? मैंनेजब 1984 में हरित क्रांति का विरोध शुरू किया था तो इसके पीछे एक मकसद था। कहा जाताथा कि पंजाब में हरित क्रांति से...

More »

मलेरिया के परजीवी को मारेगी हल्दी!

कुरुक्षेत्र [राजेश चौहान]। मलेरिया के परजीवी को अब हल्दी से काबू पाया जाएगा। हल्दी में पाया जाने वाला क्यूरकोनिन पदार्थ मलेरिया को तीन दिन में परास्त कर रोगी को स्वस्थ करेगा। पशुओं पर इस ट्रायल को शत-प्रतिशत सफलता मिली है और क्लीनिकल ट्रायल का पहला चरण जारी है। पद्मभूषण तथा भारतीय विज्ञान संस्थान के प्रोफेसर जी पद्मनाभन ने मलेरिया के अचूक इलाज का यह फार्मूला खोजा है। सोमवार को कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय में गोयल पुरस्कार से...

More »

महंगाई के खिलाफ खोखली पहल

नई दिल्ली [घनेंद्र सिंह सरोहा]। आईपीएल, सानिया की शादी और मोदी-थरूर विवाद के बीच बीते दिनों एक खबर महंगाई पर भी आई थी। अक्सर विपक्ष कहता है कि मीडिया हमेशा बुनियादी मुद्दों को छोड़ ग्लैमरस चीजों के पीछे भागता है। तो मंहगाई पर कटौती प्रस्ताव लाने वाला विपक्ष संसद में शशि थरूर और उनकी महिला मित्र सुनंदा के बीच कौन-सा बुनियादी मुद्दा ढूंढ़ रहा है। यहा विपक्ष या मीडिया की गलतिया ढूंढ़ने का इरादा...

More »

किसानों व कारपोरेट सेक्टर का गठजोड़ जरूरी

नई दिल्ली। राष्ट्रपति प्रतिभा पाटिल ने गांवों के विकास के लिए किसानों और कारपोरेट सेक्टर के गठजोड़ पर जोर दिया है। उन्होंने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में ही खाद्य प्रसंस्करण और कृषि आधारित उद्योगों की स्थापना से कंपनियों और किसानों दोनों को लाभ होगा। वह योजना आयोग के एक समारोह में बोल रही थीं। राष्ट्रपति ने कहा कि ग्लोबल मंदी के बावजूद भारत के कम प्रभावित होने की वजह उसकी ग्रामीण आर्थिक व्यवस्था रही है,...

More »

धरती कहे पुकार के

ढ़ती हुई कीमतें उस आपदा का सिर्फ एक संकेत हैं, जिससे खेती जूझ रही है. दरअसल भारतीय कृषि क्षेत्र बुरी तरह से चरमरा रहा है. संकट से पार पाने के लिए नजरिए में बड़े बदलावों की जरूरत है. लेकिन कृषि मंत्री शरद पवार आपदा की इस आहट को सुनने के लिए तैयार नहीं. अजित साही और राना अय्यूब की रिपोर्ट सरकारी नीतियों से लेकर अखबार की सुर्खियों तक तरजीह पाने वाली...

More »

Video Archives

Archives

share on Facebook
Twitter
RSS
Feedback
Read Later

Contact Form

Please enter security code
      Close