नोटबंदी के असर को नकारने के लिए सरकार भले कहे कि रबी की बुवाई का रकबा 2016-17 में बढ़ा है लेकिन सच्चाई इसके उलट है.रबी का बुवाई का रकबा बढ़ा नहीं घटा है, बशर्ते तुलना के लिए आप ऐसे साल को चुने जो मॉनसून के लिहाज से सामान्य साल साबित हुआ हो. नोटबंदी के तकरीबन दो महीने बाद नये साल की पूर्व संध्या पर प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में कहा : "...दोस्तों, बीते...
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2020 तक सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को सरकार से 1.2 लाख करोड़ रुपए की जरूरत: मूडीज
सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों को अपनी बैलेंस शीट सुधारने और नुकसान की भरपाई करने के लिए 2020 तक सरकार से 1.2 लाख करोड़ रुपये की जरूरत है। यह बात शुक्रवार को मूडीज इन्वेस्टर्स सर्विस ने कही। हालांकि यह सरकार की 45,000 करोड़ रुपये की अतिरिक्त पूंजी डालने की योजना के मुकाबले कहीं अधिक है। मूडीज ने कहा कि बैंकों की परिसंपत्ति की गुणवत्ता अगले 12 महीने तक दबाव में रहेगी और...
More »निर्यात और विनिर्माण की स्थिति कैसे सुधरे-- जयंतीलाल भंडारी
मौजूदा आर्थिक परिदृश्य में यह संभावना उभर रही है कि इस वर्ष निर्यात और विनिर्माण के क्षेत्र को बजट आबंटन में प्राथमिकता दी जाएगी। पिछले 14 महीनों से देश के निर्यात में लगातार गिरावट आ रही है। वर्ष 2015 में निर्यात बढ़ाने के प्रयास कारगर सिद्ध नहीं हुए हैं। पिछले वर्ष 2015 में निर्यात में वर्ष 2014 की तुलना में 20 फीसदी कमी आई है और मंद होती वैश्विक अर्थव्यवस्था...
More »नीति आयोग : एक साल का सफर
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 15 अगस्त, 2014 को अपने पहले स्वतंत्रता दिवस संबोधन में कहा था कि वे योजना आयोग की जगह नयी संस्था बनाना चाहते हैं. इस घोषणा के अनुरूप, 1 जनवरी, 2015 को उन्होंने नीति आयोग बनाने की घोषणा की. इस नयी संस्था से देश को काफी अपेक्षाएं हैं. इसे जहां व्यापार, स्वास्थ्य, कृषि, ग्रामीण विकास, शिक्षा तथा कौशल विकास जैसे मसलों पर ज्ञान के सृजन और...
More »सेहत और शिक्षा को न बनाएं धंधा-- राजीव रंजन झा
हम भारतीय आम तौर पर कुछ भी खरीदते हैं, तो मोलभाव जरूर करते हैं. मसलन, सब्जी खरीदनी हो तो जरूर पूछते हैं कि भई 40 रुपये किलो क्यों, बगल में 35 का दे रहा है, 30 की देनी है तो दो. लेकिन अगर कोई आपसे पूछे कि आपकी दो बड़ी ऐसी खरीदारी कौन-सी हैं, जिसमें आपने कोई मोलभाव नहीं किया, तो क्या जवाब देंगे? शायद आप कहेंगे कि सिनेमा टिकट...
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