जनसत्ता 16 अक्तूबर, 2013 : सर्वोच्च अदालत के दो ताजा लागू फैसलों और केंद्रीय चुनाव आयोग के एक गैर-लागू निर्णय के बाद चुनावी भ्रष्टाचार के दलदल में रसूखदार राजनीतिकों के धंसने का नया युग शुरू हो गया है। न्यायमूर्ति अनंगकुमार पटनायक और न्यायमूर्ति एसजे मुखोपाध्याय की पीठ ने दस जुलाई के ऐतिहासिक निर्णय के जरिए यह कील ठोंक दी है कि दो वर्ष या इससे अधिक की सजा पाने वाला...
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सहकारी समितियां सूचना के अधिकार कानून के दायरे में नहीं आतीं : उच्चतम न्यायालय
नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय ने स्पष्ट किया है कि सहकारी समितियां सूचना के अधिकार कानून के दायरे में नहीं आती हैं। न्यायमूर्ति के एस राधाकृष्णन और न्यायमूर्ति ए के सीकरी की खंडपीठ ने सभी सहकारी समितियों को सूचना के अधिकार कानून के दायरे में लाने संबंधी केरल सरकार के परिपत्र को सही ठहराने वाला उच्च न्यायालय का निर्णय निरस्त करते हुए यह व्यवस्था दी। न्यायाधीशों ने कहा कि इस तरह की...
More »गन्ना किसानों का कसूर- हरवीर सिंह
उत्तर प्रदेश के गन्ना किसानों के लिए एक बार फिर 1996-97 पेराई सीजन का माहौल बन रहा है। वह पहला साल था, जब राज्य की निजी चीनी मिलों ने गन्ना किसानों को राज्य सरकार द्वारा तय किया जाने वाला राज्य परामर्श मूल्य (एसएपी) देने से मना कर दिया था। चालू पेराई सीजन में भी चीनी मिलों ने साफ कर दिया है कि वे किसानों को 240 रुपये प्रति क्विंटल से अधिक...
More »बर्बरता नहीं हो सकती मृत्युदंड का आधार : सुप्रीम कोर्ट
नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि बर्बरतापूर्ण हत्या या आंख के बदले आंख जैसा प्राचीन चलन किसी मामले को विरलतम मानने और ऐसे अपराध के लिए मृत्युदंड देने का आधार नहीं हो सकता। न्यायमूर्ति एचएल दत्तू, न्यायमूर्ति एसजे मुखोपाध्याय और न्यायमूर्ति एमवाइ इकबाल की तीन सदस्यीय खंडपीठ ने तिहरे हत्याकांड के मुजरिम की मौत की सजा को उम्र कैद में तब्दील करते हुए यह व्यवस्था दी है। जजों ने अदालतों को...
More »दलित मुक्ति के मायने- मोहनदास नैमिशराय
जनसत्ता 14 अक्तबूर, 2013 : मुक्ति के दरवाजे खोलने वाले विशेष महापुरुषों और धर्मात्माओं की सूची बनाई जाए तो एक दर्जन ऐसी हस्तियां तो रही होंगी, जिनके आह्वान पर लाखों लोगों ने चलना स्वीकार किया। उन शख्सियतों के द्वारा किए गए आह्वान, उनके प्रेरक विचारों, उनके संघर्षों के दस्तावेजों के पन्नों की संख्या दिन-ब-दिन बढ़ती जाती है। यूरोप के इतिहास को देखें तो मार्टिन लूथर किंग ने गोरों की क्रूर परंपराओं...
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