किसी गांव की एक महिला बकरी खरीदना चाहती है। वह आर्थिक तौर पर अपने पैरों पर खड़े होना चाहती है। यह जानते हुए कि उसे मदद मिल सकती है, वह इस काम के लिए लघु वित्तीय संस्थान (एमएफआई) में संपर्क करती है। उसे लगभग 7,000 रुपए की जरूरत है। एक स्वयं सहायता समूह के जरिए काम कर रही एमएफआई उसे 24 प्रतिशत की दर पर ब्याज के हिसाब से यह...
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बात निकली है तो दूर तलक जाएगी - भवदीप कांग
गजेंद्र सिंह की मौत का राजनीतिकरण इस पूरे प्रकरण का सबसे दु:खद पहलू था। हो सकता है उसकी आत्महत्या 'जेनुइन" हो। यह भी हो सकता है, जैसा दिल्ली पुलिस का मानना है कि उसकी आत्महत्या महज एक दुर्घटना हो, एक नाटकीय प्रसंग। लेकिन गजेंद्र की मौत इन मायनों में अपने लक्ष्य को अर्जित करने में जरूर कामयाब रही कि उसने किसानों की दुर्गति की ओर पूरे देश का ध्यान आकृष्ट...
More »..तो छत्तीसगढ़ सरकार 4 रुपये 80 पैसे में दूर करेगी कुपोषण!
छत्तीसगढ़ में साल 2015-16 में चार रुपये अस्सी पैसे में कुपोषण दूर किया जायेगा। यह राज्य सरकार का आकड़ा है। सीजी डॉट कॉम के मुताबिक छत्तीसगढ़ के महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा जारी विज्ञप्ति में कहा गया है कि, "वित्तीय वर्ष 2015-16 में पूरक पोषण आहार के लिए 470 करोड़ रूपए का बजट प्रावधान किया गया है।" विज्ञप्ति के मुताबिक " एकीकृत बाल विकास सेवा योजना के तहत करीब...
More »खाली हैं अन्न उपजाने वाले हाथ- देविन्दर शर्मा
कृषि मोर्चे पर एक नया संकट आ गया है। सर्वोच्च न्यायालय में केंद्र सरकार द्वारा किसानों को फसल उत्पादन की कुल लागत पर 50 प्रतिशत लाभ देने में असमर्थता जताने के बाद तलवारें खिंच गई हैं। मार्च के मध्य से ही कई किसान संगठन इस मुद्दे पर केंद्र सरकार का विरोध कर रहे हैं। उन्हें लग रहा है कि उनके साथ विश्वासघात हुआ है। वाकई लोकसभा चुनाव के दौरान ही...
More »अब गरीबों को गेहूं नहीं मिलेगा, चावल से चलाना पड़ेगा काम
बिलासपुर (निप्र)। जिले के अंतर्गत आने वाले 5 लाख 22 हजार 844 राशन कार्डधारकों को राज्य शासन ने करारा झटका दिया है। मंगलवार को खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग ने एक आदेश जारी कर गेहूं के आवंटन पर रोक लगा दी है। आनन-फानन में खाद्य विभाग के अधिकारी राशन दुकान संचालकों को मोबाइल के जरिए गेहूं की आपूर्ति बंद करने संबंधी शासन के आदेश की जानकारी देने के साथ ही...
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