गुजरात में अनुभवहीन युवा नेता हार्दिक पटेल की ओर से अपने समुदाय को गोलबंद कर जिस तरह आरक्षण की मांग की गई और जिससे राज्य के कई इलाकों में जो हिंसा भड़क उठी, उससे आरक्षण का मसला एक बार फिर राजनीतिक बहस के केद्र में आ गया है। आजादी के बाद अनुसूचित जातियों और जनजातियों को सामाजिक-आर्थिक रूप से मुख्यधारा में लाने के लिए उन्हें दस वर्षों के लिए सरकारी...
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मनरेगा से दूर हो रही है गरीबी-- नई रिपोर्ट
मनरेगा केंद्रित एक नये अध्ययन में कहा गया है कि ग्रामीणों को रोजगार की गारंटी देने वाले इस कार्यक्रम से गरीबी के निवारण में मदद मिली है. नेशनल काऊंसिल ऑफ अप्लॉयड रिसर्च और यूनिवर्सिटी ऑफ मेरीलैंड द्वारा तैयार इस रिपोर्ट में कहा गया है कि साल 2004-05 से 2011-12 के बीच मनरेगा के कारण इसमें काम पाने वाले लोगों के बीच 32 प्रतिशत गरीबी घटी है. (देखें सबसे नीचे दी गई...
More »भूमि अधिग्रहण से डरते हैं किसान-- तवलीन सिंह
जब भी कृषि से जुड़ी किसी समस्या पर लिखना होता है, तब मैं अपने भाई के साथ सलाह-मशविरा करती हूं। मेरे भाई की गिनती बड़े किसानों में होती है, लेकिन खेती से उसको तभी थोड़ा-बहुत पैसा वसूल हुआ, जब करनाल शहर के दिन-ब-दिन फैलते दायरे से उसकी जमीन के कुछ हिस्से शहरी घोषित हुए और अचानक कीमत बढ़ गई। वर्ना गुरबत के बीच गुजरी है मेरे भाई की जिंदगी। एक...
More »जनगणना से मिलते संकेत- अरविन्द मोहन
वित्तमंत्री अरुण जेटली ने जिस तरह जनगणना के जातिवार आंकड़ों के बारे में तत्काल सफाई दी और उसे लगभग ठंडे बस्ते में डाल दिया, उसके पीछे बड़ा कारण बिहार विधानसभा का चुनाव था। अब बिहार में जातिवार जनगणना के आंकड़ों की मांग बड़ा चुनावी मुद्दा बन गई है। कई लोग यह भी कहने लगे हैं कि जरूरी नहीं कि जातिवार आंकड़ों की मांग लालू-नीतीश की जोड़ी को फायदा पहुंचाए और...
More »पीडीएस फर्जीवाड़ा, गरीब परिवारों से ज्यादा राशनकार्ड
भोपाल। प्रदेश में सस्ते राशन के लिए पात्र बीपीएल परिवारों की संख्या से ज्यादा राशनकार्ड हैं। ये खुलासा हुआ है विस में पटल पर रखी गई कैग की रिपोर्ट में। 2009-14 तक की जांच के आधार पर कैग ने कहा है कि बड़वानी, धार, खंडवा, रतलाम और उज्जैन में अतिरिक्त कार्डों का प्रतिशत 4 से 22 तक पाया गया है। इसके लिए केंद्र सरकार के निर्देश के बावजूद घर-घर जाकर सत्यापन...
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