नोटबंदी के बाद भारत में लगभग 15 लाख लोगों को नौकरियां गंवानी पड़ी हैं। एक सर्वे में यह खुलासा हुआ है। अगर एक कमाऊ शख्स पर घर के चार लोग आश्रित हैं तो इस लिहाज से पीएम नरेंद्र मोदी के एक फैसले से 60 लाख से ज्यादा लोगों को रोटी के लिए परेशान होना पड़ा है। सेन्टर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकॉनोमी (सीएमआईई) ने सर्वे में त्रैमासिक वार नौकरियों का आंकड़ा...
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मेडिकल में खुलासा : एक साल में 208 प्रसूताओं की हो जाती है मौत
पटना :स्वास्थ्य विभाग ने प्रसूताओं की हो रही मौत के कारण का जब पता लगाया, तो सच्चाई सामने आयी. इसमें बताया गया कि जिला अस्पताल और पीएचसी में कई ऐसी प्रसूता आती हैं, जिनकी डिलेवरी से पहले जांच नहीं की जाती है. इसके लिए आशा को जिम्मेवार माना गया है. आशा प्रोत्साहन राशि के लिये गर्भवतियों का रजिस्ट्रेशन तो करा रही हैं, लेकिन जांच या...
More »कांग्रेस सरकार ने कर्नाटक में भी किया किसानों का कर्ज माफ
नयी दिल्लीः गुजरात में भारतीय जनता पार्टी का विजय रथ रोकने और कर्नाटक में किसानों की कर्जमाफी को मुद्दा बनने से रोकने के लिए कांग्रेस ने तुरुप का पत्ता फेंक दिया है. पंजाब के बाद कर्नाटक की कांग्रेस सरकार ने भी किसानों की कर्जमाफी का एलान कर दिया है. इसे प्रदेश में समय से पहले चुनाव कराये जाने के एक प्रयास के रूप में भी देखा जा रहा है. इससे पहले...
More »HIV गर्भवती के इलाज से डॉक्टरों ने भी पीछे किए हाथ
एक एचआईवी संक्रमित महिला को पहले तो परिवार ने छोड़ा। अब डॉक्टर भी इलाज में आनाकानी कर रहे हैं। पीएमसीएच में भर्ती कराई गई महिला की हालत गंभीर है। आरोप है कि महिला के पेट में मृत बच्चे को निकालने का कोई प्रयास नहीं किया जा रहा है। महिला को शनिवार शाम चार बजे स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग में एक एनजीओ की पहल पर भर्ती कराया गया है। एचआईवी संक्रमित...
More »शहरी गरीबों को आवास देने का काम मप्र में बेहद सुस्त
भोपाल। शहरी गरीबों और झुग्गी बस्तियों में रहने वालों को मकान देने की केंद्र सरकार की विभिन्न् योजनाओं का काम मध्यप्रदेश में बेहद सुस्त गति से चल रहा है। आलम यह है कि तीन योजनाओं में पिछले तीन साल में प्रदेश में सिर्फ 18 हजार मकान बने हैं, जबकि अन्य राज्यों में यह संख्या पचास हजार तक पहुंच चुकी है। उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वर्ष 2022 तक पूरे देश...
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