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अपने पीछे हुदहुद छोड़ गया है तबाही का मंजर

प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘कल विशाखापत्तनम जाउंगा और हालात का जायजा लूंगा.’’प्रधानमंत्री ने कहा है कि उन्होंने आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू से बात की है और लगातार उनसे ताजा हालात की जानकारी ले रहे हैं. सोमवार सुबह पांच बजे से NDRF की टीम पुन: राहत बचाव कार्य में लग गई है. इससे पहले कल NDRF की टीम ने 558 लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया था. एक साल...

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मनरेगा पर नयी सरकार की सोच - चंदन श्रीवास्तव

किसी एक को या कुछ एक को मिले तो वह ‘दान' या फिर ‘उपहार' कहला सकता है, अधिकार नहीं. देनेवाले ने दया-दृष्टि से दिया तो ‘दान' और अगर चुनने-छांटने के मामले में अपने को आजाद मान कर दिया, तो ‘उपहार'. अधिकार न तो ‘दान' होता है और ना ही ‘उपहार', वह एक गुण की तरह है. जैसे दाल में नमक डालने से दाल के कण-कण नमक से भींग जाते हैं,...

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मनरेगा - क्या जीविका के अधिकार को सीमित किया जा सकता है?

राजनीति का सामान्य विद्यार्थी जानता है कि अधिकार अपने स्वभाव में सार्विक होते हैं। लेकिन क्या वह यह अनुमान लगा सकता है कि लोकतांत्रिक तरीके से चुनी हुई कोई सरकार अपने बहुमत के बूते किसी सार्विक अधिकार का दायरा चंद लोगों तक सीमित कर सकती है ? महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना में फेरबदल की केंद्र सरकार की हालिया योजना जीविका के सार्विक अधिकार का दायरा सीमित करने की...

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मध्‍यप्रदेश में बिना बोनस होगी धान की खरीदी

भोपाल (ब्यूरो)। न्यूनतम समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी इस बार बोनस के बिना होगी। राज्य सरकार प्रति क्विंटल डेढ़ सौ रुपए समर्थन मूल्य के ऊपर बोनस देती आई है पर केन्द्र के ऐतराज के बाद खरीदी नीति में इसका जिक्र तक नहीं है। खाद्य, नागरिक आपूर्ति विभाग द्वारा घोषित नीति के मुताबिक तीन नवंबर से 25 जनवरी तक कॉमन धान 1360 और ग्रेड ए 1400 रुपए प्रति क्विंटल की...

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बे-कायदा क्यों हों कैदखाने? - गोपालकृष्‍ण गांधी

अदालती फैसलों की कानूनी वजहें होती हैं। अदालतें बहुत सोच-समझकर, ध्यान से, अपने नतीजों पर आती हैं। उन्हें हमें बाइज्जत कुबूल करना चाहिए। उन पर अगर हमें कुछ कहना हो तो वह बहुत समझ-बूझकर, ध्यान से ही कहना चाहिए। वैसा ही इस छोटे-से रिसाले में करना चाहूंगा। तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता-जी के 'केस" पर मैं कुछ नहीं कह सकता। अव्वल, मैं उस मामले की तफसीली अंतर्वस्तुओं से वाकिफ ही नहीं। अच्छा ही है!...

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