अब भी हमारे समाज में वे लोग मौजूद हैं, जिनकी कमीज उठाइए, तो पीठ पर गुरुजी की छड़ी के निशान होंगे. किसी की उंगली टेढ़ी, तो किसी की आंख में भी कुछ खराबी. पूछने पर बिना दांत के जबड़े हिलाते वे बड़े फख्र से कहेंगे- 'मैंने पंद्रह से बीस तक पहाड़ा याद करके नहीं सुनाया था, गुरुजी ने अपनी छड़ी मेरी झुकी पीठ पर चलाते हुए सारा पहाड़ा सुन लिये. ...
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सेवानिवृत्त वेटरन को मिले नौकरी- वरुण गांधी
भारत में सशस्त्र बलों के 25 लाख से अधिक वेटरंस (अनुभवी व्यक्ति) हैं, जिनमें से अधिकांश अच्छी तरह से प्रशिक्षित, प्रेरणा और उच्च कौशल से लैस नागरिक हैं, जो आगे बढ़कर राष्ट्रनिर्माण में योगदान देने को तत्पर हैं. इसमें हर साल लगभग 60,000 सैनिकों का और इजाफा हो जाता है. वेटरन में शामिल होनेवाले अधिकांश सैनिकों की उम्र 35 से 45 वर्ष के बीच होती हैं. हालांकि, इनमें से...
More »सूचना के संजाल में छीजती संवेदना--- दिनेश कुमार
समाज में साहित्य के लिए जगह लगातार कम होती जा रही है। प्राय: ऐसा प्रतीत होता है कि समाज को साहित्य की कोई जरूरत नहीं है। समाज की प्राथमिकता से साहित्य का गायब होना चिंता से अधिक चिंतन का विषय है। साहित्य के नए पाठक बन नहीं रहे हैं और जो पुराने हैं वे धीरे-धीरे विदा हो रहे हैं। हम एक तरह से क्रमश: साहित्य विहीन समाज की ओर बढ़...
More »छोटे उद्योग पनपें तो सुधरेगी अर्थव्यवस्था-- भरत झुनझुनवाला
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने दावोस में विश्व के निवेशकों को बताया था कि भारत में व्यापार करना अब आसान हो गया है। उन्होंने इस बात के प्रमाण में विश्व बैंक द्वारा ‘व्यापार करने की सुगमता' अथवा ‘इज ऑफ़ डूइंग बिजिनेस' रपट का उल्लेख किया था। लेकिन व्यापार करना आसान होने के बावजूद देश में विदेशी निवेश की मात्रा बढ़ने के स्थान पर घट रही है। अप्रैल से दिसंबर, 2016 की...
More »खुदकुशी के सामाजिक सबक-- ज्योति सिडाना
अभी हाल ही में शाहबाद (कुरुक्षेत्र) में एक व्यक्ति ने फांसी लगा कर खुदकुशी कर ली और मरने से पहले उसने अपने घर की दीवारों और फेसबुक पर लिखा कि मेरी मौत के लिए मेरी पत्नी जिम्मेवार है। अपनी पत्नी के साथ हुई अनबन को इसका कारण बताया गया। हिसार में एक दंपति ने ट्रेन के आगे कूद कर आत्महत्या कर ली। मरने से पहले महिला ने वीडियो बनाया और...
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